मध्यप्रदेश के उज्जैन जिले में देर रात एक युवक ने घर में फांसी लगा ली. गश्त के दौरान सूचना मिलते ही टीआई मौके पर पहुंचे और तुरंत दरवाजा तोड़कर युवक को फंदे से नीचे उतारा. सबको लगा कि लड़का भर गया है, लेकिन तभी टीआई ने उसे सीपीआर देना शुरू कर दिया, इससे उसकी सांसें लौट आईं और जान बच गई.
जानकारी के अनुसार, शहर से करीब 55 किलोमीटर दूर नागदा में मंडी थाने के टीआई अमृतलाल गवरी रात करीब 1.30 बजे जनमेजय मार्ग पर गश्त पर थे. इस दौरान एक बुजुर्ग दौड़ते हुए उनके पास पहुंचे और बताया कि उसका घर पानी की टंकी के पास है, जहां उसके बेटे धैर्य यादव ने खुद को कमरे में बंद कर फांसी लगा ली है.
बुजुर्ग की बात सुनकर टीआई अमृतलाल गवरी तत्काल उनके घर पहुंचे और दरवाजा तोड़कर कमरे में दाखिल हुए. उन्होंने फांसी के फंदे पर लटके धैर्य यादव को नीचे उतारकर जमीन पर लेटाया. इस दौरान परिजन उसे मृत समझकर विलाप करने लगे, लेकिन टीआई गवरी ने बिना समय गंवाए धैर्य को सीपीआर देना शुरू किया. कुछ ही पलों में उसके शरीर में हलचल दिखाई दी. इसके बाद टीआई उसे अपने वाहन से रामसहाय मार्ग स्थित एमपी-13 अस्पताल लेकर पहुंचे, जहां डॉक्टरों ने तत्काल उपचार शुरू किया. कुछ देर में युवक को होश आ गया और उसे अस्पताल से छुट्टी भी दे दी गई.
टीआई और पुलिस की हो रही तारीफ
घटना के दौरान टीआई गवरी ने मौके पर मौजूद आरक्षक धीरज यादव को भी फोन कर बुलाया. नगर सुरक्षा समिति सदस्य राजेश मोरवाल की भी इस रेस्क्यू में अहम भूमिका रही. समय पर सीपीआर मिलने से युवक की जान बचने पर पुलिस की सराहना हो रही है.
पारिवारिक विवाद बना वजह
टीआई अमृतलाल गवरी ने बताया कि धैर्य यादव ने पारिवारिक विवाद के चलते आत्मघाती कदम उठाया था. सूचना मिलते ही मौके पर पहुंचकर कमरे का दरवाजा तोड़ा गया. युवक फांसी पर लटका मिला, जिसे तुरंत नीचे उतारा गया. परिजन उसे मृत समझकर रोने लगे, लेकिन सीपीआर देने पर उसके शरीर में हलचल शुरू हो गई. अब वह पूरी तरह स्वस्थ है.