
Madhya Pradesh Hindi News: ग्वालियर जिले के सबसे प्रमुख पर्यटन स्थल एवं शहर की पेयजल आपूर्ति के सबसे बड़े स्त्रोत तिघरा जलाशय (Tighra Reservoir) के गेट इस साल मंगलवार को फिर से खोले गए. इस साल मानसून में हो रही अच्छी बारिश से मोक्षगुंडम विश्वेश्वरैया की उत्कृष्ट तकनीक से निर्मित तिघरा जलाशय बार-बार लबालब हो रहा है. मंगलवार शाम 4 बजे तिघरा जलाशय के 5 गेट खोले गए. इसके डेढ़ घंटे बाद बचे दोनों गेट भी खोल दिए. इस तरह तिघरा के सभी 7 गेट खोलकर पानी निकाला गया. लंबेबे अरसे बाद ऐसा मौका आया है, ज़ब बांध के सातों गेट एक साथ खोलने पड़े हों.

गेट खोलने से पहले तीन बार सायरन बजाकर तिघरा की डाउन स्ट्रीम में बसे गांवों को सतर्क किया गया. कलेक्टर रुचिका चौहान के निर्देश पर राजस्व विभाग की टीम भी निचले इलाके में बसे गांवों में लगातार लोगों को सतर्क कर रही है. साथ ही एसडीआरएफ टीम को भी सतर्क कर दिया है. कलेक्टर ने जलाशय पर पिकनिक मनाने आए पर्यटकों की सुरक्षा का ध्यान रखने के भी निर्देश दिए.

जलस्तर कम होने पर बंद कर देंगे गेट
अनुविभागीय अधिकारी जल संसाधन वीरेन्द्र सिंह यादव ने बताया कि तिघरा जलाशय में लगातार बढ़ रहे पानी को ध्यान में रखकर मंगलवार को सभी गेट खोले गए, इससे लगभग 8 से 10 हजार क्यूसेक पानी निकाला गया है. उन्होंने बताया कि जलस्तर कम होने पर गेट बंद कर दिए जाएंगे. अगर आगे भी जलस्तर बढ़ा तो फिर से गेट खोले देंगे.
सिंधिया राज्यकाल में माधौ महाराज ने मोक्षगुंडम विश्वेश्वरैया तकनीक से 100 साल से भी पहले तिघरा जलाशय का निर्माण कराया था. तभी से यह जलाशय ग्वालियर शहर की प्यास बुझा रहा है. इसीलिए तिघरा जलाशय को ग्वालियर की लाइफ लाइन कहा जाता है. तिघरा जलाशय सांक नदी पर स्थित एक मीठे पानी का जलाशय है, जो ग्वालियर से 23 किमी दूर स्थित है.
तिघरा की डाउन स्ट्रीम में स्थित इन गांवों को किया गया सतर्क
ग्राम तिघरा, ग्राम कैथा, ग्राम तालपुरा, ग्राम महिदपुर, ग्राम पृथ्वीपुर, ग्राम कुलैथ, ग्राम अगरा भटपुरा, ग्राम दुगनावली व ग्राम तिलघना. मुरैना जिले के गांव ग्राम पहाड़ी, ग्राम जखौदा व ग्राम बामोर भी तिघरा के डाउन स्ट्रीम में शामिल हैं. इन सभी में बाढ़ की आशंका से बचाव के लिए अलर्ट पहले ही जारी किया जा चुका हैं.
ये भी पढ़ें- Shivpuri News: नेशनल हाईवे 46 की हालत बेकार, डेढ़ साल में सड़क हादसे में हो चुकी हैं 12 मौतें