
Stamp duty evasion: आर्थिक अपराध प्रकोष्ठ (EOW) सागर ने दमोह जिले में स्टांप शुल्क चोरी के मामले में बड़ी कार्रवाई की है. ईओडब्ल्यू ने तत्कालीन डिप्टी रजिस्ट्रार उल्लास नाखरे, जमीन के खरीदार जगजीत सिंह वाधवा और विक्रेता लखनलाल पटेल के खिलाफ धोखाधड़ी सहित अन्य धाराओं में आपराधिक प्रकरण दर्ज किया है. इन आरोपियों पर 3 लाख 19 हजार 739 रुपये की स्टांप ड्यूटी चोरी करने का आरोप है.
ऐसे हुआ खुलासा
दमोह निवासी अजीत अग्रवाल ने ईओडब्ल्यू में शिकायत दर्ज कराई थी कि रजिस्ट्री के दौरान जमीन की चतुर्सीमा (सीमा निर्धारण) में गड़बड़ी कर स्टांप शुल्क चोरी की गई। शिकायत की जांच में आरोप सही पाए गए.
जांच में सामने आया खेल
- वर्ष 2018 में लखनलाल पटेल ने 0.71 हेक्टेयर जमीन 57.73 लाख रुपए में खरीदी थी.
- वर्ष 2020 में उन्होंने यही जमीन केवल 27.93 लाख रुपए में जगजीत सिंह वाधवा को बेच दी.
- रजिस्ट्री के दौरान तत्कालीन डिप्टी रजिस्ट्रार उल्लास नाखरे की मौजूदगी में चतुर्सीमा में जानबूझकर फेरबदल किया गया.
- बायपास रोड को छुपाकर भूमि को अंदरूनी हिस्से की जमीन दिखाया गया, ताकि स्टांप शुल्क कम लगे.
सरकार को लाखों का नुकसान
जांच में स्पष्ट हुआ कि जमीन की वास्तविक दिशा और मुख्य मार्ग का जिक्र रजिस्ट्री से हटाया गया. इस हेरफेर से सरकार को 3.19 लाख रुपए का राजस्व नुकसान हुआ, जबकि खरीदार और विक्रेता को अवैध फायदा पहुंचाया गया.
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