Raipur by-election: छत्तीसगढ़ में रायपुर दक्षिण विधानसभा सीट (Raipur South Assembly seat) पर उपचुनाव की रणभेरी सज चुकी है.छत्तीसगढ़ के इतिहास में पहली बार इस सीट पर बीजेपी का चेहरा बदला है. बृजमोहन अग्रवाल की जगह उनके बेहद करीबी माने जाने वाले सुनील सोनी (Sunil Soni) को प्रत्याशी बनाया गया है. साल 2023 के विधानसभा चुनाव तक इस सीट से लगातार बृजमोहन अग्रवाल बीजेपी के प्रत्याशी रहे हैं और जीत भी हासिल की है, लेकिन बृजमोहन अग्रवाल (Brijmohan Aggarwal) अब सांसद हैं और सीट खाली होने के बाद उपचुनाव हो रहा है. सुनील सोनी के सामने कांग्रेस से युवा नेता आकाश शर्मा (Akash Sharma)मैदान में हैं. आकाश शर्मा के नाम का ऐलान होते ही बीजेपी ने चुनावी रणनीति के तहत उनपर हमला शुरू कर दिया है.
रायपुर के सांसद, पूर्व मंत्री व रायपुर से लगातार चुनाव जीतने वाले बृजमोहन अग्रवाल का कहना है कि कांग्रेस के चार-चार गुटों की लड़ाई में बीजेपी के प्रत्याशी की घोषणा होने के चार दिन बाद कांग्रेस के प्रत्याशी की घोषणा हुई है, वो भी ऐसा प्रत्याशी जिसका रायपुर से कोई लेना-देना नहीं है. जिन्होंने रायपुर दक्षिण की जनता की कोई सेवा नहीं की है. रायपुर दक्षिण की जनता, जिसने मुझे रिकॉर्ड मतों से जिताया है, अब सुनील सोनी को उससे ज़्यादा मतों से जिताएगी. इस सीट पर फिर से बीजेपी को ही जीत मिलेगी.बता दें कि बीजेपी के अभेद किले को भेदने के लिए कांग्रेस ने यूथ कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष 35 वर्षीय आकाश शर्मा पर भरोसा जताया है. इस सीट पर अनुभव बनाम युवा की जंग होने वाली है. ऐसे में जानते हैं कि दोनों की राजनीतिक प्रोफाइल क्या है?
बीजेपी के प्रत्याशी सुनील सोनी का कहना है कि दक्षिण विधानसभा की जनता को विश्वास दिलाता हूं, आठ बार बृजमोहन जी ने चुनाव जीत कर जो काम किए हैं, उसको आगे बढ़ाएंगे, हमारी सरकार आई है, दक्षिण विधानसभा के विकास के लिए विकास की कोई कमी नहीं होगी. उन्होंने कहा कि पार्टी मिलकर चुनाव लड़ेगी और जीत भी मिलेगी. जबकि कांग्रेस प्रत्याशी आकाश शर्मा का कहना है कि सुनील सोनी जी की उम्र ज्यादा है, सांसद,महापौर रहे हैं फिर भी वे केवल अपने तीन काम गिना दें, जो उन्होंने जनता के हित में किया हो और जिसके आधार पर जनता उन्हें वोट दे. मैं जनता के मुद्दे पर चुनाव लड़ूंगा, बढ़ता हुआ अपराध, महतारी वंदन में पैसा देकर बिजली बिल बढ़ा दिए हैं. रायपुर दक्षिण में बढ़ता हुआ नशा, तमाम जनता के मुद्दे हैं, इन मुद्दों पर चुनाव लड़ेंगे और जीतेंगे भी.
अब एक नजर इस सीट के इतिहास और चुनाव परिणाम पर डाल लेते हैं-
आंकड़े बताते हैं कि रायपुर दक्षिण सीट पर बीजेपी और कांग्रेस के बीच ही सीधा मुकाबला रहा है, लेकिन कांग्रेस को हर बार ही हार का सामना करना पड़ा है. पुराने रिकॉर्ड के बुते उपचुनाव में जीत को लेकर बीजेपी आश्वस्त नजर आ रही है. कांग्रेस के लिए हर बार चुनौती रही रायपुर दक्षिण सीट पर पहली बार हो रहे उपचुनाव को लेकर पार्टी ने क्या कोई खास रणनीति तैयार की है. छत्तीसगढ़ कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष दीपक बैज का कहना है कि पार्टी ने यूथ चेहरा को मौका दिया है. आकाश शर्मा कोई नए नहीं है. वे NSUI के प्रदेश अध्यक्ष रूप में काम कर चुके हैं और यूथ कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष हैं. संगठन के लिए काम करते रहे हैं. दीपक बैज के मुताबिक कांग्रेस को आकाश शर्मा को प्रत्याशी बनाने का लाभ मिलेगा क्योंकि जनता बदलाव चाहती है. बीजेपी ने जिनको प्रत्याशी बनाया है, वो निष्क्रिय रहे हैं. जनता युवा पर भरोसा जताएगी. आकाश शर्मा बेदाग, निर्विरोध, निर्विवाद और मजबूत चेहरा है.
अब एक नजर रायपुर दक्षिण सीट पर मतदाताओं की संख्या और उपचुनाव के लिए अहम तारीखों पर डाल लेते हैं
रायपुर दक्षिण विधानसभा सीट
2 लाख 59 हजार 948 हैं पंजीकृत मतदाता
- -पुरुष मतदाता 1 लाख 18 हजार, महिला मतदाता 1 लाख 21 हजार
- ओबीसी 53, सामान्य 16 और अल्पसंख्यक 17 फिसदी वोटर हैं
- नामांकन की प्रक्रिया 18 अक्टूबर से
- नामांकन की अंतिम तारीख 25 अक्टूबर
- नाम वापसी 30 अक्टूबर तक
- मतदान 13 नवंबर को , मतगणना 23 को
बहरहाल रायपुर दक्षिण सीट पर उपचुनाव में जीत को लेकर कांग्रेस-बीजेपी के अपने-अपने दावे हैं, इतिहास बीजेपी के पक्ष में है, ऐसे में बड़ा सवाल बना हुआ है कि क्या कांग्रेस बीजेपी के इस अभेद किले को भेद पाएगी, फिर से ताज बीजेपी प्रत्याशी के सिर ही सजेगा?
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