महिलाओं के खिलाफ बढ़ते अपराधों के बीज मध्य प्रदेश के शिवपुरी जिले में बच्चियों की सुरक्षा के लिए एक अनोखी क्लास चलाई जा रही है. इस क्लास को अनोखा इसलिए कहा जाता है क्योंकि इस क्लास में बच्चियां पढ़ने नहीं बल्कि आत्मरक्षा के गुण सीखने आती हैं. यहां बच्चियों को आत्मनिर्भर होने और आत्म सुरक्षा के लिए हथियार चलाना सिखाया जाता है. इसके साथ ही यहां पर बच्चियों को लाठी चलाने के साथ बंदूक, तलवार जैसे हथियार चलाना भी सिखाया जाता है. उन्हें यह भी बताया जाता है कि अगर उनके पास कभी कोई हथियार न हो तो वह अपनी सुरक्षा कैसे कर सकती हैं.
इस क्लास में बच्चियों को शारीरिक रूप से सशक्त बनाने के साथ ही उन्हें समाज में आत्म सम्मान और बेखौफ होकर रहना भी सिखाया जा रहा है. साथ ही साथ यहां ये भी बताया जाता है कि इस कला का दुरुपयोग नहीं बल्कि सदुपयोग कर सिर्फ अपनी आत्म सुरक्षा के लिए ही करना चाहिए.
क्लास का होता है निःशुल्क संचालन
शिवपुरी जिले की इस क्लास में लगभग 7 साल से 15 साल तक की उम्र की बच्चियां आती हैं. यह क्लास लगभग 1 साल से चलाई जा रही है, जिसका संचालन निशुल्क किया जाता है. संचालकों द्वारा बच्चियों को आत्मरक्षा के लिए सशक्त बनाकर समाज में एक अनोखी पहल की जा रही है. क्लास में आने वाली लड़कियों ने बताया कि हथियार चलाने से वे आत्मरक्षा को लेकर पूरी तरह आत्मविश्वास से भरी होती हैं. उन्होंने बताया कि इससे उनका आत्मसम्मान भी बढ़ता है.
लड़कियों को लाठी बाजी में मिली महारत
शिवपुरी में पर्यटन पार्क में लगाई जाने वाली यह क्लास बेहद रोचक है. इस क्लास में कई बच्चियां ऐसी हैं जिन्हें लाठी बाजी में महारत हासिल हो चुकी है. इन बच्चियों को यह भी सिखाया जाता है कि इस कला का दुरुपयोग नहीं करना है बल्कि समाज हित में अपनी सुरक्षा को लेकर इस्तेमाल करना है. बच्चियों को यहां से न केवल अस्त्र-शस्त्र चलाने की शिक्षा मिल रही है बल्कि समाज में आत्मसम्मान के साथ सीना उठाकर कैसे चलना है यह भी सिखाया जाता है.
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