Saurabh Sharma Scam: परिवहन विभाग के पूर्व आरक्षक सौरभ शर्मा के मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने एनफोर्समेंट केस इनफार्मेशन रिपोर्ट (ECIR) दर्ज की है. वहीं, डायरेक्टरेट ऑफ रेवेन्यू इंटेलिजेंस (DRI) ने भी जांच शुरू कर दी है.
सोने के बिस्किट और अन्य सामग्री की जांच शुरू
सोने के बिस्किट मिलने के मामले में DRI ने आयकर विभाग से जानकारी मांगी है. इस केस में शामिल अन्य सामग्रियों और सबूतों को तीनों केंद्रीय जांच एजेंसियों ने आपस में साझा किया है.
लोकायुक्त की विशेष टीम (SIT) गठित
लोकायुक्त पुलिस ने इस मामले में गहराई से जांच के लिए विशेष जांच टीम (SIT) का गठन किया है. DG लोकायुक्त जयदीप प्रसाद ने बयान देते हुए बताया कि सौरभ शर्मा और उसके सहयोगी चेतन सिंह गौर को आरोपी ठहराया गया है.
सौरभ शर्मा के ठिकाने अभी भी अज्ञात
लोकायुक्त को अभी तक यह जानकारी नहीं मिली है कि सौरभ शर्मा कहां है. उसकी तलाश के लिए एक अलग टीम बनाई गई है.
हवाला एंगल से जांच की संभावना
जांच के दौरान हवाला कनेक्शन की भी पड़ताल की जा रही है. वहीं, कैश और गोल्ड से भरी कार की जांच अभी जारी है. सभी दस्तावेज़ सील कर दिए गए हैं और इन्हें विवेचना के लिए टीम के हवाले किया गया है. लोकल पुलिस द्वारा लोकायुक्त को इस मामले की सूचना नहीं दी गई, जिस पर लोकायुक्त ने टिप्पणी करने से इंकार किया है.
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क्या है अगला कदम?
केंद्रीय एजेंसियों और लोकायुक्त की संयुक्त जांच से इस मामले में छुपे हुए पहलुओं का जल्द खुलासा होने की संभावना है. यह मामला हवाला, सोने की तस्करी और भ्रष्टाचार के संभावित संबंधों की ओर इशारा कर रहा है.
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