Mahakal Temple Accident: श्री महाकालेश्वर मंदिर के अन्न क्षेत्र में शनिवार को बड़ा हादसा हो गया. महिला यहां आलू-प्याज छीलने वाली मशीन पर काम कर रही थी. इसी दौरान मशीन में दुपट्टा फंसने से उसके गले में फंदा कस गया. जिससे उसकी मौत हो गई. हादसा शनिवार सुबह करीब 6 बजे हुआ. महिला की पहचान रजनी खत्री (30) के रूप में हुई है. मौके पर मौजूद कर्मचारियों ने तुरंत मशीन बंद की. रजनी के गले से फंदा निकालकर उसे अवंतिका अस्पताल ले गए, जहां डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया.
घटना के बाद महाकाल मंदिर अन्न क्षेत्र आज रहेगा बंद
सूचना मिलते ही तहसीलदार रुपाली जैन और एसडीएम एलएन गर्ग जिला अस्पताल की मर्चुरी पहुंचे. महाकाल थाना पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है. अन्न क्षेत्र में लगे सीसीटीवी कैमरे भी खंगाले जा रहे हैं. हादसे को देखकर अन्न क्षेत्र में काम कर रहे तीन लोगों की तबीयत बिगड़ गई. उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है. घटना के चलते आज महाकाल मंदिर अन्न क्षेत्र को बंद रखने का निर्णय लिया गया है.
परिवार को 2 लाख की आर्थिक सहायता
एसडीएम गर्ग ने बताया कि रजनी खत्री बीते 7 साल से महाकाल मंदिर में बतौर आउटसोर्स कर्मचारी काम कर रही थी. बीते एक वर्ष से उसकी ड्यूटी अन्न क्षेत्र में खाना बनाने और परोसने में लगी थी. वह पति से अलग रह रही थी. 12 साल का बेटा है. हाल ही में लगी हाईटेक मशीन में वह रोजाना की तरह सुबह आलू-प्याज छीलने का काम कर ही रही थी. एसडीएम ने रजनी के परिवार को 2 लाख रुपए की आर्थिक सहायता देने की बात कही है.
सितंबर 2023 से चल रहा अन्न क्षेत्र
श्री महाकालेश्वर मंदिर प्रबंध समिति का दो मंजिला अन्न क्षेत्र महाकाल लोक के नंदी द्वार की पार्किंग परिसर में 5 सितंबर 2023 से संचालित किया जा रहा है, इसमें 370 व्यक्तियों की बैठने की क्षमता है. यहां सुबह 11:30 बजे से रात 9 बजे तक पहली मंजिल पर एक साथ 370 श्रद्धालु भोजन कर सकते हैं.
यहां भोजन बनाने और अन्य कार्यों में आधुनिक मशीनों का उपयोग किया जा रहा है. अन्न क्षेत्र सुबह 11.30 से रात 9 बजे तक खुला रहता है. शाम 5 से 6 बजे तक सफाई और भोजन बनाने के कारण इसे बंद रखा जाता है.
हर दिन इतना बनता है प्रसाद
महाकालेश्वर मंदिर के अन्न क्षेत्र में हर दिन 350 किलो आटा, 60 किलो दाल, 125 किलो चावल, 250 किलो सब्जी, 15 किलो तेल इस्तेमाल होता है. खीर के लिए 125 किलो दूध, 20 किलो शक्कर, 500 ग्राम सूखे मेवे, 8 किलो चावल, हलवा के लिए 15 किलो सूजी, 20 किलो शकर, एक किलो सूखे मेवे, 10 किलो शुद्ध घी का उपयोग किया जाता है.
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