
Madhya Pradesh News: मध्य प्रदेश हाईकोर्ट में एक अवमानना याचिका दायर कर आरोप लगाया गया है कि वर्ष 2018 में दिए गए आदेश के बावजूद सरकार ने हाईस्कूल शिक्षक भर्ती से जुड़े नियमों में बदलाव नहीं किया. इतना ही नहीं, कोर्ट के स्पष्ट निर्देश के बावजूद नियुक्तियां भी नहीं दी गईं.
जस्टिस डीडी बंसल की एकलपीठ ने स्कूल शिक्षा विभाग के सचिव डॉ. संजय गोयल और लोक शिक्षण आयुक्त शिल्पा गुप्ता को नोटिस जारी कर जवाब-तलब किया है. यह याचिका हरदा निवासी शिवानी शाह व अन्य की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता रामेश्वर सिंह ठाकुर ने दायर की है.
उन्होंने अदालत को बताया कि हाईकोर्ट ने 7 मार्च 2025 को 2018 के शिक्षक भर्ती नियमों के तहत हाईस्कूल शिक्षक भर्ती में योग्यता से संबंधित नियमों को भेदभावपूर्ण और असंवैधानिक करार दिया था.
हाईकोर्ट ने अपने आदेश में स्पष्ट निर्देश दिए थे कि हाईस्कूल शिक्षक भर्ती में नेशनल काउंसिल फॉर टीचर एजुकेशन (NCTE) के नियम लागू होंगे. इसके साथ ही अदालत ने राज्य सरकार को निर्देश दिए थे कि वह एनसीटीई के नियमों को विगत तिथि (वैकडेट) से लागू कर भर्ती प्रक्रिया पूरी करें.
इन नियमों का पालन करना है जरूरी
कोर्ट ने यह भी स्पष्ट किया था कि सुप्रीम कोर्ट के फैसलों के अनुसार, राज्य सरकार एनसीटीई के नियमों के विपरीत कोई नियम नहीं बना सकती और उसे एनसीटीई के नियमों को मानना अनिवार्य है. इसके बावजूद मध्यप्रदेश सरकार ने हाईस्कूल शिक्षक भर्ती मामले में एनसीटीई के नियमों को लागू नहीं किया, जिसके चलते अब यह अवमानना याचिका दायर की गई है.
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