
जबलपुर लोकायुक्त की टीम लगातार भ्रष्टाचारी अधिकारी कर्मचारियों पर कार्रवाई करती चली जा रही है. ताजा मामला कमिश्नर दफ्तर का है, जहां पदस्थ महेंद्र मिश्रा एलडीसी को 20 हजार रुपए की रिश्वत लेते दबोचा गया है. महेंद्र मिश्रा के खिलाफ गढ़ा निवासी अभिषेक पाठक नाम के शख्स ने शिकायत दर्ज कराई थी, जिसका परीक्षण करने के उपरांत आज लोकायुक्त की टीम ने आरोपी को ट्रैप किया है.
दिलीप झरबड़े, डीएसपी लोकायुक्त जबलपुर ने बताया की गढ़ा निवासी अभिषेक पाठक की भाभी का भड़पुरा चौकीताल में एक मकान है, जिस पर अतिक्रमण की कार्रवाई का नोटिस एसडीएम अदालत की ओर से जारी किया गया था. प्रकरण में मकान अवैध पाया गया, जिसके बाद फरियादी ने एसडीएम अदालत के फैसले के खिलाफ कमिश्नर के पास अपील की थी. उक्त प्रकरण में स्टे दिलाने के एवज में बाबू महेंद्र मिश्रा ने अभिषेक से 25 हजार रुपए की डिमांड की थी. जिसकी शिकायत उन्होंने लोकायुक्त पुलिस को दे दी.
रंगे हाथों किया गिरफ्तार
तय प्लान के मुताबिक फरियादी को लोकायुक्त की टीम ने कैमिकल लगे 20 हजार रुपए के नोट लेकर कमिश्नर कार्यालय भेजा. जहां धर्मेंद्र मिश्रा के पास पहुंचकर रिश्वत की रकम दे दी गई. इसके बाद इशारा पाते ही लोकायुक्त की टीम ने आरोपी को रंगे हाथों धर दबोचा. उसके हाथ धुलवाए जाने के बाद हाथ गुलाबी हो गए. लोकायुक्त पुलिस ने मामला दर्ज करते हुए कार्रवाई की सूचना जिला मुख्यालय को प्रेषित कर दी है.