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विजय नगर पुलिस इंदौर द्वारा एक अन्तरराज्यीय फर्जी मार्कशीट बनाने वाले गिरोह का पर्दाफाश किया गया है. मार्क शीट बनाने वाले 2 और आरोपियों को पुलिस ने गिरफ्तार किया है. इस तरह आरोपी की संख्या 4 हो गई है. अभिषेक आनंद डीसीपी इंदौर ने बताया कि इंदौर के विजय नगर थाना क्षेत्र में घर से संचालित कर रहे जाली मार्कशीट कांड मामले में पुलिस द्वारा दो लोगों को पहले पकड़ा गया था और उन्हीं की निशानदेही पर पुलिस ने मुकेश तिवारी जोकि के एस मेमोरियल नामक विद्यालय संचालित करता है. वहीं दूसरे व्यक्ति का नाम नीतीश शर्मा है जो कि रंजीत हनुमान मंदिर क्षेत्र में रहता है.
दोनों ही व्यक्ति इन्हीं युवकों से जाली मार्कशीट बनवा कर अन्य लोगों को सप्लाई किया करते थे. जिन्हें भी जाली मार्कशीट की आवश्यकता होती थी मार्कशीट हजारों रुपए में लेकर लाखों रुपए में बेचा दिया करते थे. फिलहाल पुलिस द्वारा पकड़े दोनों ही दलालों से पूछताछ में जुटी हुई है. वहीं दूसरी ओर पकड़े गए आरोपियों के बैंक अकाउंट की भी जानकारी निकाली जा रही है.
आने वाले दिनों में इनके अकाउंट को भी सीज कराया जाएगा.अभी तो फिलहाल केवल इंदौर में कार्रवाई चल रही है. आने वाले दिनों में अन्य राज्यों की यूनिवर्सिटी से भी जानकारी लेने की बात कही जा रही है. गौरतलब है कि 1 दिन पहले ही मुखबिर जी सूचना पर पर डीसीपी अभिषेख आनंद द्वारा एक टीम बनाई गयी और मुखबीर कि बताई लोकेशन से गणेश कालोनी खंडवा रोड पर दबिश दी गई. जिसके बाद आरोपी दिनेश तिरोले और मनीष के घर पर दबिश देकर उसे गिरफ्तयर किया. उसके घर से पुलिस से लगभग 50-60 फर्जी मार्कशीट जो दिल्ली, बिहार, म.प्र., पंजाब, राजस्थान व कई प्रान्तो व यूनिवर्सिटी के नाम से फर्जी तरीके से यूनिवर्सिटी के नाम से बनाई गई मार्कशीटे मिली है.
अभिषेक आनंद , डीसीपी इंदौर ने बताया कि प्रारंभिक जांच में यह बात सामने आई है कि आरोपियों द्वारा सैंकड़ों लोगो को 8वी, 10वी, 12वी, बी.ए.एम.एस. तथा तथा अन्य प्रकार कि फर्जी मार्कशीटे बेचीं हैं. इसी मार्कशीट के गोरखधंधे से आरोपियों ने करोड़ों रुपये अवैध रुप से कमाये हैं. पुरे मामले में आरोपी के साथ और भी कई लोग जुड़े हैं. इस संबंध में आरोपी दिनेश और मनीष से पुछताछ की तो उन्होंने बताया कि यूनवर्सिटी से संपर्क कर उनकी डिमांड पर फर्जी मार्कशीट बनाते थे.
वहीं गिरोह के अन्य सदस्यों के बारे में पूछताछ की जा रही है. पूछताछ के बाद इस पुरे मामले कई और बड़े नाम आने की सम्भावना पुलिस द्वारा जताई जा रही है. सात पुलिस उन लोगों का भी पता लगा रही है, जिन्होंने आरोपियों से मार्कशीट प्राप्त कर इसका लाभ अर्जित किया है.