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MP News in Hindi : मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) सरकार बारहवीं कक्षा में सबसे ज़्यादा अंक लाने वाले छात्र छात्राओं को 'मुख्यमंत्री फ्री स्कूटी योजना' (CM Free Scooty Scheme) के तहत ई स्कूटी बांटती है. मुख्यमंत्री फ्री स्कूटी योजना के तहत बारहवीं के टॉपर्स को स्कूटी के साथ तमाम दस्तावेज देने के प्रावधान हैं लेकिन आदिवासी बाहुल्य डिंडौरी जिले में परिवहन विभाग और स्कूटी एजेंसी संचालक की मनमानी के कारण कई छात्रों को स्कूटी का रजिस्ट्रेशन कार्ड नहीं दिया गया है जिसके चलते छात्रों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है. NDTV से बात करते हुए छात्रों ने बताया की योजना के तहत उन्हें ई स्कूटी तो मिल गई है लेकिन 9 महीने बीत जाने के बाद भी उन्हें रजिस्ट्रेशन कार्ड नहीं मिल पाया है.
फ्री स्कूटी तो मिली लेकिन RC नहीं
अमरपुर विकासखंड के दो अलग अलग स्कूलों से बारहवीं की परीक्षा में टॉप करने वाले छात्र कौशल ठाकुर एवं नितिन रजक ने NDTV को बताया की वे रजिस्ट्रेशन कार्ड के लिए पिछले 9 महीने से स्कूटी डिस्ट्रीब्यूट करने वाली एजेंसी और जिला परिवहन अधिकारी कार्यालय के चक्कर काट रहे हैं. छात्र बताते हैं कि रजिस्ट्रेशन कार्ड मांगने पर एजेंसी स्टाफ कहते हैं कि परिवहन विभाग कार्यालय जाकर पता करो... तो वहीं, जिला परिवहन अधिकारी कार्यालय जाने पर एजेंसी जाने को बोल दिया जाता है जिसको लेकर छात्र बेहद निराश नजर आ रहे हैं.
RC ने होने के चलते कटता है चालान
आपको बता दें बारहवीं में टॉप करने वाले ये दोनों छात्र सरकारी योजना से मिले ई स्कूटी से ही रोज अपने गांव से करीब 25 किलोमीटर दूर जिला मुख्यालय स्थित कॉलेज में पढाई के लिए आते हैं और ये दोनों छात्र सरकार की फ्री स्कूटी योजना की बेहद तारीफ भी कर रहे हैं. उनका कहना है कि गरीब वर्ग के छात्र छात्राओं के लिए सरकार की ये योजना बहुत अच्छी है लेकिन तमाम औपचारिकताएं पूरी करने के बाद भी स्कूटी का रजिस्ट्रेशन कार्ड नहीं मिलने से छात्र निराश और मायूस भी नजर आ रहे हैं. छात्रों ने बताया की रजिस्ट्रेशन कार्ड नहीं होने की वजह से उन्हें कई बार चालानी कार्यवाही का सामना करना पड़ा है.
सवाल के बाद नींद से जागे अधिकारी
कई छात्रों को रजिस्ट्रेशन कार्ड नहीं मिल पाने को लेकर जब हमने जिला शिक्षाधिकारी से सवाल किए तो उनका कहना है की इस बात की जानकारी अब तक उन्हें नहीं थी... लेकिन अब मामला सामने आने के बाद जल्द ही छात्रों को रजिस्ट्रेशन कार्ड उपलब्ध कराया जाएगा. बट दें कि डिंडौरी में पिछले कई महीनों से जिला परिवहन अधिकारी का दफ्तर बाबुओं के भरोसे ही चल रहा हो रहा है. जिले में परिवहन अधिकारी का पोस्ट बीते कई महीनों से खाली पड़ा हुआ है. बालाघाट जिले के परिवहन अधिकारी के पास डिंडौरी जिले का अतिरिक्त प्रभार है जो महीने में कभी कभार डिंडौरी आते हैं जिसके कारण जिले के लोग लंबे वक्त से परेशान हैं.
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