
Madhya Pradesh News : ग्वालियर-चंबल (Gwalior Chambal) में विधायकों की कानूनी मुसीबतें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं. हाल ही में कोर्ट से जहां भारतीय जनता पार्टी (BJP) विधायक (BJP MLA) के खिलाफ जारी किए गए गिरफ्तारी वारंट (Arrest Warrant) में राहत दी गई हैं, वहीं गयी वही एक कांग्रेस पार्टी (Congress Party) के एक एमएलए (Congress Party MLA) के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किया गया है. ये फैसला जेएमएफसी (Courts of Judicial Magistrate of First Class) मजिस्ट्रेट ने सुनाया है. आइए जानते हैं कि क्या है पूरा मामला?
कांग्रेस विधायक के खिलाफ क्या था मामला?
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व सीएम दिग्विजय सिंह (Former CM Digvijay Singh) के खिलाफ कोर्ट में मानहानि का एक केस चल रहा है. यह मामला दिग्विजय सिंह द्वारा भाजपा (BJP) और बजरंग दल (Bajrang Dal) को आईएसआई (ISI) का सहयोगी बताने संबंधी बयान देने पर दायर किया गया था. इस मामले में ग्वालियर पूर्व से विधायक डॉ सतीश सिंह सिकरवार के बयान दर्ज होने हैं. वे लगातार तीसरी बार भी न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रथम श्रेणी की कोर्ट में हाजिर नहीं हुए. इस पर जेएमएफसी मजिस्ट्रेट (Magistrate) महेंद्र सैनी ने माना कि सिकरवार जान बूझकर बयान देने के लिए उपस्थित नहीं हो रहे हैं. इसलिए मजिस्ट्रेट ने सिकरवार के खिलाफ एक हजार रुपये का जमानती वारंट जारी करके इस मामले की सुनवाई की अगली तारीख 22 जनवरी तय की है.
वहीं इसके जवाब में भदौरिया ने रिकॉर्ड पेश किया, जिसमें बताया गया कि जब सतीश सिंह सिकरवार भाजयुमो के अध्यक्ष थे, तो उन्होंने ही भदौरिया को विशेष आमंत्रित सदस्य बनाया था.
भाजपा विधायक किस मामले में मिली जमानत?
उधर भिण्ड से भारतीय जनता पार्टी के एमएलए नरेंद्र सिंह कुशवाह एमपी एमएलए कोर्ट (MP MLA Court) में पेश हुए. उनके एडवोकेट अवधेश सिंह तोमर ने बताया कि विशेष न्यायाधीश सुशील कुमार जोशी के समक्ष हाईकोर्ट जबलपुर (Jabalpur High Court) का गिरफ्तारी वारंट निरस्त करने का आदेश पेश कर दोबारा जमानत की प्रक्रिया पूरी की है. गौरतलब है कि कोर्ट में चल रहे एक मामले में बयान देने के लिए उपस्थित न होने के कारण कोर्ट ने विधायक कुशवाह के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी किया था, जिसके खिलाफ वे हाईकोर्ट की शरण मे गए थे. हाईकोर्ट ने उसको रद्द कर कोर्ट में उपस्थित होने के आदेश दिए थे.
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