
MP Fertilizer Shortage Crisis: मध्य प्रदेश के रायसेन जिले से एक हैरान करने वाला वीडियो सामने आया है, जो देश के अन्नदाताओं की हालत बयां कर रहा है. यहां किसान अपनी फसल बचाने के लिए खाद और यूरिया लेने के लिए घंटों लंबी लाइन में खड़े नजर आए. हैरानी की बात यह है कि यह नज़ारा किसी आम इलाके का नहीं, बल्कि केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान के संसदीय क्षेत्र का है.
कृषि उपज मंडी में अन्नदाताओं की बेबसी
रायसेन की कृषि उपज मंडी में किसानों की आंखों में चिंता और उम्मीद दोनों झलक रही थीं. हाथों में टोकन, माथे पर पसीना और दिल में सिर्फ एक आस किसी तरह आज खाद मिल जाए ताकि खेत की फसल सूखने से बच सके. लेकिन इतनी फजीहत के बाद भी कई किसानों को खाली हाथ लौटना पड़ा.
सरकार के वादों और सच्चाई में बड़ा अंतर
सरकार मंचों से किसानों को “अन्नदाता” कहकर सम्मानित करती है, लेकिन जमीनी सच्चाई कुछ और ही कहानी बयां करती है. खाद वितरण केंद्रों पर अव्यवस्था, भीड़ और इंतजार के बीच किसान दर-दर भटक रहे हैं. किसी के पास परिवहन का साधन नहीं, तो किसी के पास पैसे खत्म हो गए हैं. यह वीडियो वायरल होने के बाद प्रशासन की कार्यप्रणाली पर भी सवाल उठने लगे हैं. स्थानीय किसान संगठनों ने मांग की है कि सरकार तत्काल खाद वितरण की स्थिति को सामान्य करें.
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अन्नदाता का सम्मान, सिर्फ भाषणों तक सीमित?
एक तरफ सरकार किसानों की आय दोगुनी करने और आधुनिक खेती के बड़े-बड़े दावे करती है, वहीं दूसरी ओर किसान बुनियादी जरूरतों के लिए संघर्ष कर रहा है. यह वीडियो न सिर्फ एक प्रशासनिक लापरवाही दिखाता है, बल्कि उस व्यवस्था पर भी सवाल उठाता है जो अन्नदाता को सम्मान नहीं, सिर्फ आश्वासन देती है.
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