
Indigenous Arms: पाक अधिकृत कश्मीर में आतंकियों के कैंप पर कहर बनकर बरपी स्वदेशी हथियारों का बोलबाला था. इनमें मेड इन जबलपुर सैन्य उपकरणों की अहम भूमिका थी. वोकल फॉर लोकल की तर्ज पर जबलपुर में आर्डिनेंस फैक्ट्री की मदद से स्टार्टअप्स द्वारा निर्मित स्वदेशी हथियारों ने पीओके में आंतकियों की जमकर खबर ली थी.
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वर्षों से सेना की ज़रूरतें पूरी करते आ रहे हैं जबलपुर आर्डिनेंस फैक्ट्री में बने हथियार
गौरतलब है पारंपरिक रक्षा उत्पादन के लिए मशूहर जबलपुर आर्डिनेंस फैक्ट्री में निर्मित स्वदेशी हथियार और आयुध वर्षों से भारतीय सेना की ज़रूरतें पूरी करते रहे हैं. ये उत्पाद विदेशी आयात से 30 फीसदी सस्ते भी है. जबलपुर में निर्मित 45 किमी लंबी समुद्री फाइबर केबल ने ऑपरेशन सिंदूर में सेना की बहुत मदद की थी.
ऑपरेशन सिंदूर में इस्तेमाल फाइबर केबल बनी भारत निर्मित पहली सबसे लंबी केबल
ऑपरेशन सिंदूर में इस्तेमाल 45 किमी लंबी फाइबर केबल भारत में बनी सबसे लंबी केबल है. तय है कि भारतीय सैन्य उपकरणों के निर्माण में जबलपुर की भूमिका भविष्य में और अहम होगी, क्योंकि यहां पहले से मौजूद ऑर्डनेंस फैक्ट्रियों का अनुभव और नई तकनीक अपनाने वाले स्टार्टअप्स की ऊर्जा मिलकर आत्मनिर्भर भारत के लक्ष्य को मजबूत बना रही हैं.
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ऑर्डनेंस फैक्ट्रियों के सहयोग से स्थानीय स्टार्टअप्स बना रहे हैं हाई-टेक सैन्य उपकरण
विनीत रजक बताया कि हम कार्यशाला आयोजित करते हैं ताकि जबलपुर का यूथ हटकर बेहतर काम कर सके. उन्होंने बताया कि जबलपुर की ऑर्डनेंस फैक्ट्रियों के सहयोग से अब स्थानीय स्टार्टअप्स हाई-टेक सैन्य उपकरण बना रहे हैं. नए नवाचारों के जरिए ‘आत्मनिर्भर भारत' की रक्षा जरूरतों में स्टार्टटप्स महत्वपूर्ण भागीदार बना है.