
Dam In Danger: मध्य प्रदेश के श्योपुर जिले में स्थित एक 100 साल पुराने में डैम में आए दरार से ग्रामीण दहशत में हैं. डैम में आए दरार से लगातार हो रहे पानी के रिसाव ने ग्रामीणों की धड़कन बढ़ा दी है, जिससे ग्रामीण दहशत में आ गए हैं. लबालब पानी से भरे डैम की दीवारों में पड़ी दरार से पानी के रिसाव ने किसी भी अनहोनी की आशंका बढ़ा दी है.
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डैम के दरारों से लगातार हो रहा पानी का रिसाव
रिपोर्ट के मुताबिक 100 पुराने आवदा डैम की दीवारों में पड़ी दरारो से लगातार पानी का रिसाव हो रहा है. बावजूद इसके अब तक जल संसाधन विभाग ने डैम की सुध तक नहीं ली है, जिससे डैम की दीवारों की दरारें लगातार बढ़ रही है. इससे आवदा गांव के साथ-साथ डैम के आसपास बसे करीब 6 दर्जन से ज्यादा गांवों की सुरक्षा खतरे में पड़ गई है.
डैम में दरार ने बढ़ाई ग्रामीणों की पैशानी पर बल
गौरतलब है करीब 42 फीट से भी ज्यादा गहरे और करीब 450 हैक्टेयर में फैले डैम के किनारे बसे 72 गांवों के लिए लाइफ लाइन कही जाने वाली आवदा डैम में पिछले 5 सालों से पड़ी दरारों ने ग्रामीणों की नींद उड़ा दी है. ग्रामीण हर पल खतरे के साए में दिन और रात काटते हुए जीने को मजबूर है, लेकिन कोई सुध लेने वाला नहीं है.
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डैम के निरीक्षण की सिर्फ होती है खानापूर्ति
ग्रामीणों का आरोप है कि डैम की मरम्मत के लिए हर साल ग्वालियर और भोपाल से अफसर इंजीनियर्स की टीम के साथ गांव में निरीक्षण के लिए आती है, लेकिन डैम की मरम्मत नहीं की जा सकी है. जल संसाधन विभाग के जिम्मेदार बजट का रोना रोते हुए सिर्फ निरीक्षण की खानापूर्ति कर लौट जाते है.
डेंजर हुआ सिंधिया रियासत काल का डैम
उल्लेखनीय है सालों से बजट के अभाव में सिंधिया रियासत कालीन आवदा डैम की मरम्मत नहीं हो पा रही है, जिससे डैम किनारे बसे ग्रामीण हर रोज खतरे के साए में जीने को मजबूर हैं. माना जा रहा है कि अगर किसी दिन डैम में पड़ी दरारों से कोई अनहोनी होती है तो सैकड़ों ग्रामीणों की जान आफत में आ सकती है.