
मध्य प्रदेश के उज्जैन में दंपति ने नाबालिग लड़की का अपहरण कर उसे 40 हज़ार रुपये में बेचने की तैयारी कर रहा था, लेकिन सोशल मीडिया ने दोनों का राज खोल दिया. दरअसल, सोशल मीडिया पर नाबालिग की गुमशुदगी की तस्वीरें वायरल हो गई और दोनों का राज खुल गया. शनिवार की देर रात लोगों ने आरोपियों को पकड़कर पुलिस के हवाले कर दिया. ये मामला उज्जैन के देवासगेट थाना क्षेत्र का है.
जिला अस्पताल में इलाज कराने गई थी लड़की
सीएसपी दीपिका शिंदे ने बताया कि आगर रोड़ स्थित जेथल टेक के रहने वाली 16 वर्षीय किशोरी सिर और पेट में दर्द होने पर बुधवार को अपने पिता के साथ जिला अस्पताल में इलाज कराने गई थी. इस दौरान दोनों चामुंडा माता मंदिर में निशुल्क खाना खाने गए. यहां पिता खाना लेने गए तभी नाबालिग लापता हो गई. हालांकि घर वालों ने काफी खोजबीन की, लेकिन वो कहीं नहीं मिली. जिसके बाद पिता ने गांव वालों को इसकी सूचना दी और देवासगेट थाने आकर रिपोर्ट दर्ज कराया. नाबालिग के लापता होने पर अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ़ अपहरण का केस दर्ज किया गया.
सोशल मीडिया से खुला राज
जानकारी के मुताबिक, नाबालिग के लापता होने पर ग्रामीणों ने सोशल मीडिया पर लड़की की गुमशुदगी की फोटो पोस्ट कर दी. हालांकि इसके बावजूद दो दिन तक लड़की नहीं मिली, लेकिन शनिवार की रात एक युवक ने नारायण खेड़ी में लड़की को देख लिया. युवक ने लड़की को जितेंद्र और उसकी पत्नी प्रमिला के साथ देख लिया. जिसके बाद उसने गांव वालों को ये जानकारी दी.
जानकारी मिलने के बाद ग्रामीण भी नारायण खेड़ी पहुंच गए और दंपति को पकड़ कर नाबालिग को बरामद कर देवास गेट थाने ले गए.
दंपति ने 40 हजार में किया था लड़की का सौदा
देवासगेट थाने में पीड़िता ने बताया कि मुझे नहीं पता कैसे दोनों के साथ चली गई थी. दोनों ने खाना खिलाया और तैयार किया. वो दोनों मुझे 40 हजार में बेचने की बात कर रहे थे.
सीएसपी दीपिका शिंदे के अनुसार, आरोपी दंपती लड़की को बेचने का प्लान बना रहे थे. हालांकि ये सौदा किसके साथ हुआ था इसकी जांच चल रही है.
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