
Corruption in Madhya Pradesh: मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के डिंडोरी (Dindori) जिले के एक बार फिर से भ्रष्टाचार की बड़ी खबर सामने आई है. ये फर्जीवाड़ा दो ग्राम पंचायतों में सरकारी बिलों में किया गया. ग्रामपंचायत मझियाखार में बीजेपी (BJP) जिलाध्यक्ष के आगमन पर वाहन खर्च के नाम पर 2500 रुपये का बिल का भुगतान किया गया. वहीं, ग्राम पंचायत अंडई में 10 पैकेट बीड़ी खरीदी के नाम पर 3700 रुपये का बिल लगाया गया. यानी एक पैकेट बीड़ी की कीमत 370 रुपये दर्शाई गई. बीड़ी के अलावा 120 रुपये के हिसाब से मगज की लड्डू खरीदी गई.
मामले को गंभीरता से लेते हुए जिला पंचायत CEO ने जांच के बाद कड़ी कार्रवाई का आश्वासन दिया है. इसके साथ ही जिला पंचायत अध्यक्ष ने भी जांच के बाद कार्रवाई की बात कही है. वहीं, कांग्रेस ने बिल को लेकर बीजेपी जिलाध्यक्ष पर निशाना साधना शुरू कर दिया है.
ऐसे किया गया भ्रष्टाचार का खेल
डिंडोरी जिले के ग्राम पंचायतों में विकास के नाम पर जमकर भ्रष्टाचार किया जा रहा है. बजाग जनपद के ग्राम पंचायत मझियाखार में बीजेपी जिलाध्यक्ष चमरू सिंह नेताम के आगमन पर वाहन खर्च के नाम पर 2500 रुपये का बिल भुगतान किया गया. वहीं, समनापुर जनपद के ग्राम पंचायत अंडई में बीड़ी और लड्डू के जो बिल जो लगाए गए हैं. उसमें किए गए खेला को जानकर आपको हैरानी होगी. एक बीड़ी के पैकेट 370 रुपये के दर से कुल दस पैकेट बीड़ी 3700 रुपये में खरीदे गए हैं. वहीं एक मगज के लड्डू को 120 रुपये प्रति दर के हिसाब से खरीदा गया.
अब हो रही है जांच की बात
दोनों ग्राम पंचायत के बिल सोशल मीडिया में वायरल होने के बाद बीजेपी जिलाध्यक्ष चमरू सिंह नेताम ने मामले में सफाई देते हुए ख़ुद को पाक साफ बताया. साथ ही वे बिलों की जांच कराने की बात करते हुए नज़र आ रहे हैं. जिला पंचायत सीईओ अनिल राठौर ने मामले को गंभीरता से लेते हुए जांच के बाद दोषियों के खिलाफ सख़्त कार्यवाही का आश्वासन दिया.
कांग्रेस शुरू किया प्रहार
कांग्रेस नेता लोकेश पटेरिया ने बीजेपी जिलाध्यक्ष को आड़े हाथों लेते हुए जिला प्रशासन पर निशाना साधा है. वहीं, जिला पंचायत अध्यक्ष रूदेश परस्ते ने ग्राम पंचायतों में लगाए जा रहे इस प्रकार के बिलों को अनुचित बताते हुए नाराजगी व्यक्त की है.
यह भी पढ़ें- ट्रेन में भाजपा नेता की मां की अस्थियां चुराने का प्रयास, चोर को रंगे हाथ पकड़ जमकर धुना
वहीं, इस पूरे मामले को उजागर होने के बाद ग्राम पंचायत मझियाखार की सचिव ने NDTV पर अपनी गलती स्वीकार की. इस दौरान उन्होंने अपना बचाव करते हुए कहा कि उन्होंने खाली बिल पर हस्ताक्षर कर दिए थे, जिसमें किसी ने बाद में बीजेपी जिलाध्यक्ष के आगमन पर वाहन खर्च लिखा है.
यह भी पढ़ें- अब इंदौर से मुंबई तक का सफर सिर्फ 12 घंटे में होगा पूरा, रेलवे ने शुरू की नई Special Train