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उत्तरकाशी सुरंग हादसा : अमेरिकी मशीन भी फेल, अब फावड़े से हटाया जाएगा मलबा, इंतजार में 41 जिंदगियां!

मैनुअल ड्रिलिंग के जरिए ऑगर मशीन के अधूरे काम को पूरा किया जाएगा. इसके लिए 11 लोगों की एक टीम दिल्ली से भेजी गई है. इनमें छह विशेषज्ञ और पांच अन्य रिजर्व में शामिल है.

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उत्तरकाशी सुरंग हादसा : अमेरिकी मशीन भी फेल, अब फावड़े से हटाया जाएगा मलबा, इंतजार में 41 जिंदगियां!
उत्तरकाशी टनल हादसे में अब होगी मैनुअल ड्रिलिंग

Uttarkashi Tunnel Rescue: उत्तरकाशी (Uttarkashi) की सुरंग में 41 जिंदगियों को फंसे अब दो हफ्ते से अधिक का समय बीत चुका है. मजदूरों को बाहर निकालने के लिए कई तरह के प्रयास किए जा रहे हैं लेकिन हर मोड़ पर रेस्क्यू ऑपरेशन (Rescue Operation) के सामने  चुनौतियां आ रही हैं. हर रुकावट के साथ रणनीति में बदलाव भी किए जा रहे हैं. सरकारी अधिकारी सभी मजदूरों को सुरक्षित बाहर निकालने के लिए नए-नए तरीके ढूंढ़ रहे हैं. सुरंग (Tunnel) में फंसे मजदूरों तक पहुंचने के लिए कई दिशाओं से ड्रिलिंग (Drilling) की जा रही है लेकिन जैसे-जैसे समय बीत रहा है चिंताएं भी बढ़ रही हैं.

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अमेरिकी मशीन भी हो गई फेल

अमेरिका की ऑगर ड्रिल मशीन मलबे में फंस चुकी है जिसके बाद अब मैनुअल ड्रिलिंग की शुरुआत की जाएगी. इसके सामने के सिरे पर एक रोटरी ब्लेड के साथ एक कॉर्कस्क्रू जैसे उपकरण के इस्तेमाल के जरिये 46 मीटर से अधिक मलबे को ड्रिल किया गया था. जैसे-जैसे मशीन ने ड्रिल किया, बाहर निकालने का रास्ता बनाने के लिए पाइपों को अंदर डाला गया. कुछ दिन पहले तक तो ऐसा लग रहा था कि रेस्क्यू ऑपरेशन जल्द पूरा हो जाएगा और मजदूर बाहर आ जाएंगे लेकिन 14 मीटर पहले मशीन का ब्लेड मलबे में फंसकर टूट गया और सभी की उम्मीदों पर पानी फिर गया.

अब मैनुअल ड्रिलिंग की बारी

अब बात करते हैं मैनुअल ड्रिलिंग की. ऑगर मशीन के फंसने के बाद बचाव टीमों ने एक साथ कई अलग-अलग रणनीतियों पर काम करने का फैसला किया. मैनुअल ड्रिलिंग के जरिए ऑगर मशीन के अधूरे काम को पूरा किया जाएगा. इसके लिए 11 लोगों की एक टीम दिल्ली से भेजी गई है. इनमें छह विशेषज्ञ और पांच अन्य रिजर्व में शामिल है. टीम के सदस्यों ने बताया कि वे मैनुअल रूप से मलबा हटाने के लिए 800 मिमी की पाइप के अंदर जाएंगे. इस विधि में ड्रिलर हाथों से पकड़े जाने वाले उपकरणों की मदद से मलबा हटाते हैं. साफ किए जाने वाले करचे को पहिएदार जहाजों के माध्यम से बाहर भेजा जाता है. 

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आज से शुरू होगी ड्रिलिंग

विशेषज्ञों में से एक ने समाचार एजेंसी एएनआई से कहा, 'एक फावड़ा और अन्य विशेषज्ञ उपकरण का उपयोग किया जाएगा. ऑक्सीजन के लिए, हम अपने साथ एक ब्लोअर ले जाएंगे.' मैनुअल ड्रिलिंग आज से शुरू होने वाली है. घटनास्थल पर बचाव दल ने आज सुबह कहा कि मलबे से ऑगर मशीन के कुछ हिस्सों को हटाने के लिए इस्तेमाल किए गए गैस कटर ने पाइप के अंदर गर्मी पैदा कर दी थी और वे मैन्युअल ड्रिलिंग शुरू होने से पहले इसके ठंडा होने का इंतजार कर रहे थे.

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