मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने गणतंत्र दिवस से एक दिन पहले जनता के नाम एक संदेश जारी किया है. कमलनाथ ने कहा कि सभी प्रदेशवासियों को गणतंत्र दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं. गणतंत्र दिवस हमें अपने संवैधानिक मूल्यों की याद दिलाता है. हमें इस बात को भी ध्यान करना चाहिए कि 15 अगस्त 1947 को भारत देश स्वतंत्र हो गया था और यहां लोकतंत्र स्थापित हो गया था, उसके बाद भी हमारे राष्ट्रनिर्माताओं ने 26 जनवरी 1950 को संविधान लागू कर भारत को गणराज्य बनाया.
"बहुमत के बल पर कोई बात सही साबित नहीं ..." - कमलनाथ
गणराज्य इस बात की गारंटी देता है कि सिर्फ बहुमत के बल पर कोई बात सही साबित नहीं की जा सकती या देश पर लागू नहीं की जा सकती. उस बहुमत का संविधानसम्मत होना अति आवश्यक है. इस तरह संविधान समाज के बहुसंख्यक, अल्पसंख्यक, भाषाई अल्पसंख्यक, अन्य पिछड़ा वर्ग, दलित,आदिवासी, महिला, बच्चे यहां तक कि समस्त प्राणियों को उनके अधिकार देने की घोषणा करता है, भले ही उनके पास वोट की शक्ति कम या अधिक हो.
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हम किसी भी हालत में संवैधानिक मूल्य को भूलेंगे नहीं
हमारे संविधान को बनाने में राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के महान संघर्ष, पंडित जवाहरलाल नेहरू की लोकतांत्रिक दृष्टि, बाबा साहेब अंबेडकर के अद्वितीय विधिक ज्ञान और भारत के करोड़ों नागरिकों की एक नया भारत बनाने की चेतना का महत्वपूर्ण योगदान है. आइये हम सब संकल्प लें कि हम किसी भी राग या द्वेष, सुख या दुख, सत्ता या वनवास के क्षण में संवैधानिक मूल्य को नहीं भूलेंगे और वंचित से वंचित व्यक्ति को उसका अधिकार दिलाने के संघर्ष में सदैव जुड़े रहेंगे. जानकारी के लिए बता दें कि कल शुक्रवार को देश अपना 74वां गणतंत्र दिवस मना रहा है.
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