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Jiwaji University Case: 18 बीएड और एक मैनेजमेंट कॉलेज की एफिलेशन जाना तय, कार्यपरिषद की बैठक में अहम फैसला

ग्वालियर के जीवाजी यूनिवर्सिटी के कार्यपरिषद बैठक में कई कॉलेजों के एफिलेशन खत्म करने पर चर्चा हो सकती है. आइए आपको पूरे मामले के बारे में विस्तार से जानकारी देते हैं.

Jiwaji University Case: 18 बीएड और एक मैनेजमेंट कॉलेज की एफिलेशन जाना तय, कार्यपरिषद की बैठक में अहम फैसला
जीवाजी में कार्यपरिषद की अहम बैठक

Gwalior News: मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के ग्वालियर में जीवाजी यूनिवर्सिटी (Jiwaji University) में शुक्रवार को कार्यपरिषद (Executive Council) की बैठक होगी. इसमें अंचल के 215 बीएड और 15 मैनेजमेंट कॉलेजों को संबद्धता देने पर कार्यपरिषद सदस्य चर्चा करेंगे. इनमें 13 बीएड और एक मैनेजमेंट कॉलेजों की मान्यता खत्म करने की अनुशंसा पहले ही स्थायी समिति कर चुकी है. जबकि, एसटीएफ जांच में फंसे 5 बीएड कॉलेजों की संबद्धता होल्ड पर है. इससे इन कॉलेजों की संबद्धता खत्म हो सकती है. यानी, 18 बीएड व 1 मैनेजमेंट कॉलेज की संबद्धता जाना तय है. साथ ही, कई और कॉलेजों की कमियां सामने आई हैं. लेकिन, ऐसे कॉलेजों की संबद्धता खत्म करने की ईसी ने अनुशंसा नहीं की है.

जीवाजी यूनिवर्सिटी में घोटाले को लेकर एफिलेशन रद्द करने पर चर्चा

जीवाजी यूनिवर्सिटी में घोटाले को लेकर एफिलेशन रद्द करने पर चर्चा

ग्वालियर चंबल अंचल में बीएड के 207 कॉलेज हैं. जबकि, 15 मैनेजमेंट कॉलेज हैं जो जीवाजी के दायरे में आते हैं. घोटाला खुलने के बाद कराई की गई. जांच में ये खुलासा हुआ था कि कई बीएड कॉलेज स्कूलों में चल रहे हैं. जबकि, कुछ में शिक्षक-प्राचार्य नहीं हैं. इस मामले को एनडीटीवी ने प्रमुखता से दिखाया था. बाद में हुए निरीक्षण कमेटियों ने ऐसे कॉलेजों को संबद्धता नहीं देने की अनुशंसा की थी. जिस पर स्थायी समिति ने अपनी सहमति प्रदान कर दी थी. अब कॉलेज संचालक कोर्ट जाने की तैयारी में हैं.

इन बीएड कॉलेजों की संबद्धता देने का प्रस्ताव

ग्वालियर के जीवाजी यूनिवर्सिटी के तहत आने वाले कुछ कॉलेजों को मान्यता देने की बात सामने आई है. इनमें, शिक्षा महाविद्यालय, पोरसा, श्रीश्री 1008 बालक नाथ शिक्षा महाविद्यालय पोरसा युवा व्यवसायिक शिक्षा महाविद्यालय, अशोकनगर अंबिका इंस्टीट्यूट शिवपुरी, महर्षि वेद व्यास कॉलेज, जंगीपुरा, ग्वालियर, आरएबी शिक्षा महाविद्यालय, अकरबरपुर, कामतानाथ बीएड कॉलेज डबरा, फिरदौस कॉलेज ऑफ एजुकेशन, कुलैथ, शारदा देवी शिक्षा महाविद्यालय भिंड, श्रीशांति किशोर-शिक्षा महाविद्यालय भिंड, जगतगुरु शंकराचार्य शिक्षा महाविद्यालय भिंड, शिव शिक्षा महाविद्यालय, सेमरपुरा, भिंड, आइडियल कॉलेज मेहगांव, भिंड और जय मां शिक्षा महाविद्यालय, मुरैना शामिल हैं.

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इन मैनेजमेंट कॉलेजों में फर्जीवाड़ा

जीवाजी के अंतर्गत आने वाले बड़े मैनेजमेंट कॉलेज, जैसे, प्राशी शिक्षा महाविद्यालपय, मुंगावली, अशोकनगर सिटी पब्लिक कॉलेज ऑफ एजुकेशन, अशोकनगर मां सरस्वती शिक्षा महाविद्यालय, गौहर, वीरपुर, प्रताप कॉलेज ऑफ एजुकेशन, बड़ौदा, श्योपुर में भी बड़े फर्जीवाड़े की बात सामने आई है.

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इनमें से कुछ कॉलेज ऐसे हैं, जिनमें एक ही बिल्डिंग में कई कॉलेज संचालित होते मिले थे और इनकी जांच एसटीएफ कर रही हैं. संबद्धता में गड़बड़ी की शिकायतों और आरोपों पर जीवाजी विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार अरुण चौहान का कहना हैं कि यह काम नियमानुसार ही किया जाता हैं और अंतिम फैसला ईसी को ही करना हैं.

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