Urvashi Rautela Latest: उर्वशी रौतेला (Urvashi Rautela) अपने साथ एक ऐसी सीख लेकर चलती हैं जिसने न सिर्फ उनके करियर को, बल्कि उनकी पूरी सोच और जीवन के दृष्टिकोण को बदल दिया. जिस ग्लैमर को लाखों लोग देखते हैं, उसके पीछे एक बेहद निजी और भावुक याद छुपी है. जिसे उर्वशी आज भी अपने दिल के बेहद करीब रखती हैं.
शुरुआती दिनों का
यह किस्सा है उनके बॉलीवुड सफर के शुरुआती दिनों का, उनकी पहली फिल्म सिंह साब द ग्रेट के सेट का. उर्वशी उस समय 'दारू बंद कल से' जैसे जोशीले और आइकॉनिक गाने की शूटिंग कर रही थीं. सेट पर सनी देओल, बॉबी देओल और सुपरस्टार धर्मेंद्र जैसे दिग्गज मौजूद थे. रोशनी, हंसी, रिहर्सल और शोर के बीच अचानक एक ऐसा पल आया जिसने उनकी जिंदगी में गहरा प्रभाव छोड़ दिया. उर्वशी याद करती हैं कि धर्मेंद्र जी ने अपनी पहचान वाली गर्मजोशी और स्नेह के साथ उन्हें धीरे से पास बुलाया और एक ऐसी बात कही जिसने उन्हें भीतर तक छू लिया. यह कोई भाषण नहीं था. यह औपचारिक सलाह भी नहीं थी. यह एक बुजुर्ग कलाकार का दिल से निकला अनुभव था. जिसने जीवन के उतार-चढ़ाव को बारीकी से देखा था. उन्होंने कहा कि उर्वशी बेटा, यह जो ईगो नाम की चीज होती है, इसको आप अपने पैरों के नीचे रखिए और उसे कुचल दीजिए ईगो, तो ईगो नाम की जो चीज होती है.
बातचीत सिर्फ एक किस्सा नहीं
उर्वशी के लिए यह बातचीत सिर्फ एक किस्सा नहीं, बल्कि उनकी जीवन-दर्शन बन गई. यह याद दिलाती हुई कि असली महानता सिर्फ शोहरत या प्रतिभा में नहीं होती, बल्कि विनम्र बने रहने की क्षमता में होती है. एक ऐसी दुनिया में जहां कभी-कभी अहंकार कला से भी बड़ा हो जाता है. धर्मेंद्र जी के दिल से निकले ये शब्द आज भी भारत की सबसे चमकती स्टार को जमीन से जोड़े रखते हैं.
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