
Chhattisgarh News : घोटालों और भ्रष्टाचार को लेकर आपने कई खबरें देखी और पढ़ी होंगी. कहीं पुल गिरने तो कहीं घटिया निर्माण सामग्री की बात समाने आई होगी, लेकिन छत्तीसगढ़ के सूरजपुर में ऐसा मामला उजागर हुआ है, जहां पुल का निर्माण नाले में न करते हुए कागजों पर कर दिया गया है. यानी लोग 'कागजी पुलिया' पार कर रहे हैं. बताया जा रहा है कि भैयाथान जनपद क्षेत्र के ग्राम करकोली से धरतीपारा जाने वाले मार्ग में पुलिया निर्माण के नाम पर करीब 47 लाख रुपये की गड़बड़ी हुई है. विभागीय एजेंसी द्वारा गोबरी नाला (Gobri Nala) में पुलिया निर्माण की बात कही जा रही है, जबकि धरातल में आज तक वहां कोई पुलिया का निर्माण ही नहीं किया गया है. इस मामले की शिकायत पंचायत प्रतिनिधियों ने की है.
कहां का है मामला?
ग्राम पंचायत करकोली में कई वर्षों से करकोली से धरतीपारा मार्ग पर गोबरी नाला में पुलिया निर्माण की मांग ग्रामीणों द्वारा की जा रही थी. ग्रामीणों की मांग के अनुसार वर्ष 2021-22 में करकोली से धरतीपारा मार्ग पर गोबरी नाला मे राजस्व मद, परियोजना मद से 47 लाख 60 हजार रुपये लागत के पुलिया निर्माण कार्य की स्वीकृति हुई थी. लेकिन पुलिया निर्माण आज तक धरातल पर नहीं दिखा, सिर्फ कागजों में ही पुलिया निर्माण होना बताया गया है. सूचना पटल पर 20 अप्रैल 2023 को पुलिया निर्माण पूर्ण होना बताया गया है. कार्यपालन अभियंता ग्रामीण यांत्रिकी सेवा उपसंभाग भैयाथान को निर्माण कार्य एजेंसी बनाया गया था. संबंधित विभाग में भी कार्य खत्म होने की जानकारी पटल में 20 अप्रैल 2023 दर्शायी है. वहीं निर्माण कार्यों की संक्षेपिका में कार्य पूर्णता तिथि 16 फरवरी 2023 तथा कार्य हस्तांतरण प्रमाण पत्र में कार्य पूर्णता तिथि 19 अप्रैल 2023 दर्शायी गयी है. कार्य पूर्णता तिथियां अलग-अलग हैं इसको लेकर चर्चाओं का बाजार भी गरम है. इससे मामला संदिग्ध नजर आ रहा है.
पुलिया बनी नहीं, फोटो कहीं और का लगा दिया
यहां पुलिया का निर्माण कार्य किए बिना सिर्फ कागजों में काम को दिखाया गया. अन्य जगह की पुलिया का फोटो संबंधित दस्तावेज में लगाया गया है. हलांकि इस मामले का पर्दाफाश करते हुए पंचायत प्रतिनिधियों व ग्रामीणों ने आरईएस विभाग (RES Department) के भ्रष्टाचार की पोल खोल दी है. वहीं ग्रामीणों ने भ्रष्टाचार की उच्च स्तरीय और निष्पक्ष जांच की मांग कर इस भ्रष्टाचार में लिप्त लोगों पर कठोर कार्यवाही करने मांग की है.
सरपंच के फर्जी दस्तख़त
इस पूरे मामले में ग्राम पंचायत करकोली की सरपंच सुषमा सिंह के पति देव कुमार सिंह ने बताया कि इस मार्ग में पुलिया प्रस्तावित था. लेकिन आज तक कोई निर्माण कार्य नहीं किया गया. जानकारी मिली है कि सरपंच के भी फर्जी दस्तख़त हस्तातंरण प्रमाण पत्र में किये गए हैं.
कलेक्टर ने क्या कहा?
सूरजपुर कलेक्टर संजय अग्रवाल ने कहा कि यह गंभीर मामला संज्ञान में आया है. इसकी जांच करायी जाएगी और जांच में मिले तथ्यों के आधार पर कार्रवाई की जाएगी. भ्रष्टाचार में शामिल किसी भी दोषी को बख्शा नहीं जाएगा.
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