Fraud in Chhattisgarh: छत्तीसगढ़ में साइबर अपराध तेजी से बढ़ रहे हैं. हलात ये है कि यहां हर घंटे लगभग तीन लोग साइबर ठगी के शिकार हो रहे हैं. दरअसल, यहां पिछले चार वर्षों में इन मामलों में 10 गुना वृद्धि देखी गई है. राज्य पुलिस और विशेषज्ञों का कहना है कि अपराधियों से बचने के लिए लोगों को सतर्कता बरतने और साइबर सुरक्षा उपाय अपनाने की जरूरत है.
मोबाइल चोरी से खाते हो गए खाली
रायपुर के कारोबारी देवेश बजाज का अनुभव इस खतरे की गंभीरता को उजागर करता है. वह बताते हैं कि उनके पिता का मोबाइल बाजार में चोरी हो गया था और तीन दिन बाद पता चला कि उनके बैंक खाते से 1.38 लाख रुपये गायब हो गए. देवेश बजाज कहते हैं कि पापा का फोन चोरी हुआ. शिकायत दर्ज कराई, लेकिन तब तक खाते से लाखों रुपये निकल चुके थे. इसी तरह, रतन भंसाली का फोन भी भीड़भाड़ वाले बाजार में चोरी हो गया. इसके बाद 25 मिनट के भीतर उनके खाते से 48,000 रुपये निकल गए. भावेश भंसाली बताते हैं कि धक्का-मुक्की के दौरान मोबाइल चोरी हुआ. कुछ मिनटों में यूपीआई से कई बार पैसे निकाले गए.
कार्रवाई और जागरूकता दोनों जरूरी
साइबर क्राइम को रोकने के लिए पुलिस लगातार प्रयास कर रही है. एडिशनल एसपी साइबर क्राइम संदीप मित्तल ने बताया कि अपराधियों पर कार्रवाई के साथ लोगों को जागरूक करना भी बेहद जरूरी है. वे कहते हैं कि लोग अक्सर बेसिक साइबर सिक्योरिटी फीचर्स का इस्तेमाल नहीं करते. कमजोर पासवर्ड और टू-स्टेप वेरिफिकेशन का न होना साइबर अपराधियों को मदद पहुंचाता है.
चार साल में 10 गुना बढ़े मामले
छत्तीसगढ़ में साइबर अपराध की स्थिति चिंताजनक है. यहां साल दर साल साइबर अपराध के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं.
वर्ष मामले
- 2020: 2,295 मामले
- 2021: 7,134 मामले
- 2022: 12,295 मामले
- 2023: 22,296 मामले
ठगी के लिए ऐसे-ऐसे हथकंडे अपनाते हैं ठग
साइबर ठग नए-नए तरीकों से लोगों को निशाना बना रहे हैं.
- डिजिटल अरेस्ट: खुद को पुलिस अधिकारी बताकर पैसे ठगना.
- फिशिंग स्कैम: लिंक भेजकर खाते की जानकारी चुराना.
- जॉब स्कैम: नौकरी दिलाने के नाम पर ठगी.
- लॉटरी और लकी ड्रॉ: नकद इनाम के नाम पर पैसे मांगना.
- पार्सल और कैश ऑन डिलीवरी: नकली पार्सल भेजकर ठगी.
- सेक्सटॉर्शन: अश्लील वीडियो बनाकर ब्लैकमेल करना.
साइबर ठगी से से ऐसे बचें
- सतर्क रहें: किसी भी अज्ञात लिंक या कॉल का जवाब देने से बचें.
- सुरक्षित पासवर्ड: मजबूत और यूनिक पासवर्ड बनाएं.
- टू-स्टेप वेरिफिकेशन: खातों की सुरक्षा बढ़ाने के लिए इसे अपनाएं.
- शिकायत करें: किसी घटना की स्थिति में तुरंत 1930 नंबर पर कॉल करें.
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बढ़ते साइबर अपराधों के बीच पुलिस की कार्रवाई जरूरी है, लेकिन लोगों को भी खुद से बचाव के लिए सतर्क रहना होगा. पढ़े-लिखे वर्ग के लोग अक्सर इन अपराधों के शिकार बनते हैं, जो जागरुकता की कमी को दर्शाता है. साइबर सुरक्षा उपायों को अपनाकर और सतर्कता बरतकर ही इस खतरे से बचा जा सकता है.
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