विज्ञापन

ये कैसा सिस्टम है! यहां जिला अस्पताल में इलाज से महंगी पड़ रही बाइक की पार्किंग, 14 नोटिस के बाद भी कोई एक्शन नहीं

Neemuch District Hospital: नीमच जिला अस्पताल में इलाज से महंगी पार्किंग हो गई है. पार्किंग ठेकेदार पर दर से ज्यादा पैसे लेने का आरोप लगा है. मामले में कार्रवाई के नाम पर अब तक 14 नोटिस दिए जा चुके हैं. आइए आपको पूरे मामले के बारे में विस्तार से जानकारी देते हैं.

ये कैसा सिस्टम है! यहां जिला अस्पताल में इलाज से महंगी पड़ रही बाइक की पार्किंग, 14 नोटिस के बाद भी कोई एक्शन नहीं
नीमच अस्पताल में पार्किंग के दरों को लेकर विवाद

Neemuch Latest News: आमतौर पर इलाज के लिए सरकारी अस्पताल (Government Hospital) गरीबों के लिए किसी वरदान से कम नहीं होते हैं. इसकी एक बड़ी वजह यहां पर सस्ता इलाज होना भी है. क्योंकि, निजी अस्पतालों का इलाज काफी महंगा होता है इस वजह से लोग बड़ी संख्या में यहां आते हे. लेकिन, नीमच जिला चिकित्सालय (Neemuch District Hospital) में अब इलाज गरीबों के लिए महंगा साबित होने लगा हैं.

नीमच जिला अस्पताल में पार्किंग को लेकर विवाद

नीमच जिला अस्पताल में पार्किंग को लेकर विवाद

क्या है नीमच जिला अस्पताल का पूरा मामला?

दरअसल, यहां के पार्किंग ठेकेदार द्वारा मनमाने तरीके से पार्किंग शुल्क वसूला जा रहा है. कलेक्टर ने जिला चिकित्सालय में आने वाले साइकिल से पार्किंग के लिए दो रुपये बाइक, स्कूटर, आदि के लिए पांच रुपये, चार पहिया वाहनों के लिए 10 रुपये प्रति 12 घंटे की दर से पार्किंग लेना निर्धारित किया है. लेकिन, ठेकेदार मनमाने तरीके से 12 की जगह 24 घंटे की दर से लोगों से पार्किंग शुल्क ले रहा हे, जो दोगुना है. हैरानी की बात यह है कि मामले में जिला चिकित्सालय के अधिकारी भी पहले से अवगत हैं.

कई नोटिसों के बाद भी कोई कार्रवाई नहीं

जानकारी के अनुसार, पार्किंग के ठेकेदार को अब तक 14 बार नोटिस भेजा जा चुका है. बावजूद इस पर कार्रवाई के नाम पर एक और नोटिस दे दिया जाता है. इलाज करने आए लोगों से रोगी कल्याण समिति द्वारा पर्चा बनाने के लिए 10 रुपये लिए जाते हैं. जबकि, पार्किंग के लिए ही दो पहिया वाहन चालकों को 10 रुपये और चार पहिया वाहन चालकों को 20 रुपये देने पड़ रहे हैं. ये इलाज से भी महंगे साबित हो रहे हैं.

ये भी पढ़ें :- MP News: सड़क पर जन्मदिन मनाने से किया मना तो युवक को चाकू से गोदा, चेहरे पर आए गहरे जख्म

क्या कहा ठेकेदार ने?

मामले पर ठेकेदार विक्रम सिंह का कहना है कि वह पूर्व ठेकेदार की तरह ही काम कर रहा है. वह यह भी कबूल कर रहा है कि 24 घंटे के मान से ही सभी वाहन मालिकों से पैसे ले रहा है, जबकि नियम 12 घंटे का है. ऐसे में मजह 15 मिनट के लिए आए व्यक्ति से भी 24 घंटे का शुल्क वसूला जा रहा हैं. वहीं, सिविल सर्जन महेंद्र पाटील का कहना है कि शिकायत के आधार पर अब उसे नोटिस दिया जाएगा और आवश्यकता पड़ने पर उसका ठेका निरस्त कर दिया जाएगा.

ये भी पढ़ें :- इंदौर में गलियों के नाम बदलने पर हड़कंप, पार्षद ने लगाए अवैध साइन बोर्ड; फिर महापौर ने लिया ये फैसला

MPCG.NDTV.in पर मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ की ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें. देश और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं. इसके अलावा, मनोरंजन की दुनिया हो, या क्रिकेट का खुमार,लाइफ़स्टाइल टिप्स हों,या अनोखी-अनूठी ऑफ़बीट ख़बरें,सब मिलेगा यहां-ढेरों फोटो स्टोरी और वीडियो के साथ.

फॉलो करे:
Close