Balaghat Gang Rape Case: उमंग सिंघार की मांग! आदिवासी-दलित महिलाओं की सुरक्षा के लिए ये काम करे सरकार

Balaghat Gang Rape Case: नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि ASER रिपोर्ट 2024 सरकार ने दावा किया कि बालिकाओं की शैक्षणिक स्थिति में सुधार हुआ मगर सच ये है कि आज लड़कियां सबसे ज़्यादा पढाई अधूरी छोड़ रही हैं. मध्यप्रदेश में 16.1% लड़कियां स्कूल छोड़ रही है. सरकारी सेवाओं में महिलाओं को 33% भागीदारी का दावा तो बहुत है, लेकिन हकीकत इससे कोसों दूर है. इन आंकड़ों से साफ है कि महिला सशक्तिकरण केवल भाषणों और नीतियों तक सीमित रह गया है.

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Balaghat Gang Rape Case: उमंग सिंघार के सवाल

Balaghat Gang Rape Case: मध्य प्रदेश विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार (Umang Sighar) ने बालाघाट जिले में आदिवासी बच्चियों के साथ हुई गैंगरेप (Balaghat Gang Rape Case) की घटना के सामने आने पर आदिवासी और दलित महिलाओं की सुरक्षा के लिए विशेष कार्यबल (STF) गठित किए जाने की मांग की है. इसके लिए उन्होंने मुख्यमंत्री मोहन यादव (CM Dr Mohan Yadav) को पत्र भी लिखा है. नेता प्रतिपक्ष द्वारा मुख्यमंत्री यादव को लिखे पत्र में कहा गया है कि 23 अप्रैल की रात बालाघाट जिले के दुगलाई गांव में आदिवासी बालिकाओं के साथ अमानवीय घटना घटित हुई, उनके साथ सामूहिक बलात्कार किया गया. इन पीड़ितों के परिजनों से मेरी 30 अप्रैल को मुलाकात हुई और घटना की जानकारी मिली. 

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फास्ट ट्रैक कोर्ट में चलाया जाए केस

मुख्यमंत्री यादव को लिखे गए पत्र में नेता प्रतिपक्ष सिंघार ने कहा, "यह प्रकरण फास्ट ट्रैक कोर्ट में चलाया जाए ताकि दोषियों के विरुद्ध कड़ी कार्रवाई की जा सके. इसके साथ ही अनुभवी विशेष लोक अभियोजक की नियुक्ति की जाए जो अनुसूचित जनजाति अत्याचार और पॉक्सो मामलों में दक्ष हो. पीड़िताओं को न्यूनतम एक करोड़ रुपये की सहायता राशि दी जाए. साथ ही पीड़िताओं और उनके परिजनों की सुरक्षा हेतु गांव में स्थायी पुलिस बल की व्यवस्था की जाए ताकि पीड़ित परिवार की सुरक्षा एवं गरिमा सुरक्षित रहे."

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उन्होंने अपने पत्र में आगे लिखा है कि आदिवासी और दलित महिलाओं के विरुद्ध अपराधों में हो रही वृद्धि को दृष्टिगत रखते हुए दूरस्थ क्षेत्रों में रहने वाली आदिवासी और दलित महिलाओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने हेतु विशेष कार्यबल (स्पेशल टास्क फोर्स) का गठन किया जाए. इस मामले की गंभीरता को देखते हुए त्वरित कार्रवाई जरूरी है. 

राज्य में कानून व्यवस्था को लेकर कांग्रेस सरकार को घेरने की कोशिश कर रही है. उसी क्रम में नेता प्रतिपक्ष ने यह पत्र लिखा है. इसके अलावा उन्होंने सोशल मीडिया पर भी मध्य प्रदेश में बालिकाओं के शैक्षणिक स्तर को लेकर सरकार के दावों पर सवाल उठाया है.

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