Jai Shri Mahakal Temple : बाबा श्री महाकाल की अगहन माह की राजसी सवारी सोमवार शाम निकली. इस दौरान बाबा महाकाल ने चंद्रमौलेश्वर स्वरूप में चांदी की पालकी में सवार होकर प्रजा का हाल जाना. बाबा के दर्शन के बाद जयकारों से आसमान गूंज गया. बता दें, बाबा महाकाल की कार्तिक माह की सवारी के बाद अगहन माह की अंतिम सवारी सोमवार सायं 4 बजे महाकाल मंदिर से निकली. सबसे पहले मंदिर के सभामंडप में पुजारी घनश्याम शर्मा ने बाबा महाकालेश्वर का चन्द्रमौलेश्वर स्वरूप का विधिवत पूजन किया. इसके बाद भगवान श्री चन्द्रमौलेश्वर चांदी की पालकी में विराजित हुए.
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इन मार्ग से निकले बाबा चंद्रमौलेश्वर
मंदिर प्रबंध समिति के प्रशासक गणेश कुमार धाकड़ ने बताया कि, सवारी परम्परागत मार्ग गुदरी चौराहा, बक्षी बाजार, कहार वाडी होते हुए रामघाट पहुंची. यहां क्षिप्रा के जल से बाबा का अभिषेक उपरांत सवारी रामघाट से गणगौर दरवाजा, मोढ की धर्मशाला, कार्तिक चौक, खाती का मंदिर, सत्यनारायण मंदिर, ढाबा रोड, टंकी चौराहा, छत्री चौक, गोपाल मंदिर, पटनी बाजार, गुदरी बाजार, होते हुए पुन: श्री महाकालेश्वर मंदिर पहुंची.सवारी में कलेक्टर नीरज सिंह,एसपी प्रदीप मिश्रा,मंदिर प्रशासक गणेश धाकड़,सहा.प्रशासक मूलचंद जूनवाल और पुजारी पुरोहित पूजन में शामिल हुए.
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