Chhattisgarh News: छत्तीसगढ़ के बलरामपुर जिले (Balrampur District) के वाड्रफनगर वन परिक्षेत्र (Wadrafnagar Forest Range) अंतर्गत पिछले 40 दिनों के भीतर 35 जंगली हाथियों का दल (Group of Wild Elephants) के द्वारा जमकर उत्पात मचाया जा रहा है. जंगली हाथियों का दल दिन में जंगल में रहकर आराम करता है और शाम होते ही भोजन की तलाश में रिहायशी इलाकों की तरफ रुख कर रहे हैं. खेत में खड़ी गेहूं, सरसो और चना (Wheat, Mustard and Gram Crops) जैसे फसलों को खाने के साथ-साथ काफी मात्रा में रौंद कर नुकसान पहुंचा रहे हैं. ये हाथी बीते 40 दिन में करीब एक दर्जन से अधिक गांव में 400 किसानों की 300 एकड़ में लगी फसल को तबाह कर चुके हैं, जंगली हाथियों का दल की मौजूदगी अभी भी इसी क्षेत्र में है, जिसकी वजह से ग्रामीण भयभीत हैं.
35 हाथियों का दल पिछले 40 दिनों से जमकर मचा रहा तबाही, सैकड़ो एकड़ में फसलों को किया बर्बाद #Balrampur #wildlife #elephants pic.twitter.com/EvBdzVd8KX
— NDTV MP Chhattisgarh (@NDTVMPCG) March 9, 2024
किसानों की फसलों का हुआ भारी नुकसान
वाड्राफनगर वन परिक्षेत्र की मदनपुर ककनेसा पनसारा कोटरकी वाड्रफनगर नगर पंचायत कैलाशपुर मेंडारी गुरुमुखी सहित दर्जनों गांव में करीब 400 किसानों की 300 एकड़ में खड़ी गेहूं, चना, मक्का, बाजारा और सरसों के फसलों जंगली हाथियों के दल ने रौंद कर तबाह कर दिया गया है. जिसकी वजह से किसानों की मुसीबत बढ़ गई है. किसानों को लाखों का नुकसान हो रहा है. लगातार हाथियों के आतंक से ग्रामीण काफी सहमे हुए हैं और वन विभाग (Forest Department) से हाथियों को भगाने की अपील कर रहे हैं.
वन विभाग के नर्सरी में बने घर के साथ ट्यूबवेल को तोड़ा
जंगली हाथियों के दल वाड्रफनगर शहर से महज एक किलोमीटर की दूरी पर जंगल में अपना डेरा डाल रखा है और शाम होते ही गांव और शहरों की ओर हाथी निकल आते हैं. बीते दो दिन पहले हाथियों का दल अचानक शहर में वन विभाग के नर्सरी में घुसकर फलदार वृक्ष के साथ केला (Banana) एवं अन्य फसलों को खाने के साथ-साथ तबाह भी किया है. हाथियों ने नर्सरी परिसर में लगे ट्यूबवेल को भी उखाड़ फेंका, इतना ही नहीं नर्सरी परिसर में बने घर को भी तहस-नहस कर दिया. गनीमत यह थी कि नर्सरी में बने घर पर उस दौरान कोई चौकीदार नहीं था, वरना बड़ी क्षति हो सकती थी.
हाथियों के डर से पांच स्कूलों को भी किया जा चुका है बंद
करीब एक महीना पहले हाथियों के डर से वाड्रफनगर वन परिक्षेत्र के ककनेसा गांव से लगे आसपास के पांच स्कूलों को जिले के जिला शिक्षा अधिकारी (District Education Officer) के द्वारा बंद कर दिया गया था, पांचो स्कूलों में छुट्टी घोषित कर दी गई थी. रिहायशी इलाकों में भी वन विभाग के द्वारा मुनादी करा कर लोगों से जंगल की ओर और घर से बगैर काम के नहीं निकालने की अपील की गई थी.
वन विभाग लगातार हाथियों को भगाने में हो रहा है नाकाम
वाड्रफनगर वन परिक्षेत्र में हाथियों की दल की मौजूदगी पिछले 40 दिनों से है. जंगली हाथियों के दल के द्वारा क्षेत्र के दर्जनों गांव में पहुंचकर तोड़फोड़ के साथ फसलों को काफी मात्रा में नुकसान पहुंचाया जा रहा है. हालांकि वन विभाग की टीम स्थानीय लोगों की मदद से बम-पटाखे एवं मसाल जलाकर रिहायशी इलाकों से दूर भगाने की तमाम कवायों कर रहा है, लेकिन सारी कोशिशें नाकाम साबित हो रही हैं. वन विभाग पूरी तरह से अब बेबस नजर आ रहा है, जिसका खामियाजा क्षेत्र के किसान भुगत रहे हैं.
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