
Naxalites Madavi Hidma: छत्तीसगढ़ के बस्तर और खासकर सुकमा और बीजापुर के इलाके में अपनी पैठ रखने वाला एक करोड़ का इनामी नक्सली हिड़मा भी कर्रेगुट्टा के जंगल में पूरी तरह से घिरा हुआ है. सबकी नजर इसी खूंखार नक्सली पर है. ऐसे में ये जानना दिलचस्प है कि आखिर ये हिड़मा कौन है? ये पर्सनल सिक्योरिटी के साथ ही 250 नक्सलियों की फौज और आधुनिक हथियारों से अक्सर लैस रहता है.
साल 2010 के बाद से बस्तर और आसपास के इलाकों में हुई नक्सली घटनाओं का मास्टर माइंड हिड़मा को ही माना जाता है.उस पर अलग-अलग एजेंसियों ने करीब 1 करोड़ का इनाम रखा है. ये कई बार मुठभेड़ों में फंसता है लेकिन इसकी सिक्योरिटी इतनी तगड़ी है कि इसे सुरक्षित निकाल देती है. कर्रेगुट्टा के एनकाउंटर में अगर ये मारा जाता है तो सुरक्षा बलों की सबसे बड़ी उपलब्धि होगी.
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16 साल की उम्र में बना था नक्सली
माडवी हिड़मा बस्तर के साउथ जोन में सक्रिय PLGA बटालियन का पूर्व चीफ और वर्तमान में सेंट्रल कमेटी का मेंबर है.सुकमा जिले के जगरगुंडा थाना क्षेत्र के पूवर्ती गांव के माड़वी रैया और पोज्जे के घर में हिड़मा का जन्म हुआ था.वो गोंड जाति से संबंध रखता है और उसने कोंटा में ही पढ़ाई की है.
कई मुठभेड़ों का आरोपी है
हिड़मा ताड़मेटला सहित कई बड़ी घटनाओं का आरोपी है. ताड़मेटला में देश का सबसे बड़ा हमला हुआ था. इसमें सीआरपीएफ के 76 जवान शहीद हो गए थे. इसके अलावा बुरकापाल,टेकलगुड़म, मिनपा,भेजी,कोत्ताचूरू और झीरम कांड के साथ करीब 27 से ज्यादा वारदातों में हिड़मा का नाम सामने आया है.
ऐसा माना जाता है कि हिड़मा खुद चार लेयर की सुरक्षा में रहता है. उसके पर्सनल सिक्योरिटी के अलावा 200 से 250 नक्सलियों की फौज 24 घंटे आधुनिक हथियारों के साथ उसकी सुरक्षा में रहते हैं.
चुस्त कद-काठी वाला है हिड़मा
उसकी टीम में बड़ी संख्या में महिलाएं भी शामिल हैं. जानकार बताते हैं कि दुबला पतला, लेकिन चुस्त कद काठी वाला हिड़मा बहुत तेज-तर्रार है और चीजों को बहुत तेजी से सीखता था.इसी वजह से महज 16 साल की उम्र में ही उसे नक्सलियों ने बच्चों की विंग का अध्यक्ष बना दिया था. हिड़मा ज्यादातर दक्षिण सुकमा क्षेत्र में रहता है.उसके अधीन 150 से अधिक कमांडर हैं, जो बेहतरीन रूप से प्रशिक्षित हैं.
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