Illegal Paddy Trade: छत्तीसगढ़ के बलौदा बाजार जिले में धान के अवैध भंडारण पर प्रशासन ने बड़ी कार्रवाई की है. बिचौलियों और कोचियों द्वारा छिपाकर रखा गया करीब 25 लाख रुपए का धान जब्त कर लिया गया. कलेक्टर के निर्देश पर की गई इस संयुक्त कार्रवाई से जिलेभर में अवैध कारोबारियों में हड़कंप मचा हुआ है.
बलौदा बाजार कलेक्टर दीपक सोनी के निर्देश पर राजस्व, खाद्य विभाग और मंडी विभाग की संयुक्त टीम ने 1055 क्विंटल अवैध धान जब्त किया. जब्त किए गए धान की कुल कीमत 24.99 लाख रुपए से अधिक बताई गई है. कार्रवाई की खबर फैलते ही जिलेभर में बिचौलियों में खलबली मच गई है.
भाटापारा क्षेत्र में कई ठिकानों पर दबिश
अनुविभाग भाटापारा में एसडीएम श्यामा पटेल के नेतृत्व में टीम ने कई स्थानों पर छापेमारी की. सूरजपुरा स्थित भब्य ट्रेडर्स से 28 क्विंटल धान मिला, जिसकी कीमत 66,332 रुपए है. वहीं, खैरा में माखन गिरि गोस्वामी के पास से 16.40 क्विंटल अवैध धान मिला जिसकी कीमत 38,851 रुपए आंकी गई.
रिद्धि सिद्धि एग्रो इंडस्ट्रीज सील
सबसे बड़ा जब्ती प्रकरण रिद्धि सिद्धि एग्रो इंडस्ट्रीज में सामने आया, जहां से 1000 क्विंटल अवैध धान मिला. इसकी अनुमानित कीमत 23,74,183 रुपए बताई गई है. गोदाम को मौके पर ही सील कर दिया गया.
पलारी क्षेत्र में दुकान से मिला धान
पलारी क्षेत्र के ग्राम जर्वे में जलेश्वर साहू की दुकान से 11.2 क्विंटल अवैध धान मिला. इसकी कीमत 25,760 रुपए आंकी गई. जब्त धान को पंचायत के ग्रामीण बालकदास की सुपुर्दगी में दिया गया.
संयुक्त टीम ने की कड़ी जांच
कार्रवाई के दौरान एसडीएम श्यामा पटेल, तहसीलदार यशवंत राज, लीलाधर कंवर, सहायक खाद्य अधिकारी लक्ष्मण कश्यप और मंडी निरीक्षक सहित पूरी टीम मौजूद रही. टीम ने दस्तावेजों की जांच, स्टॉक का मिलान और परिवहन से जुड़े कागजों की पड़ताल की.
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बिचौलियों की तैयारी पर कलेक्टर की निगरानी
धान खरीदी शुरू होने से पहले ही बिचौलियों द्वारा पुराने और बाहरी धान को इकट्ठा कर समर्थन मूल्य पर बेचने की तैयारी की जा रही थी. इसे देखते हुए कलेक्टर ने विशेष निगरानी के निर्देश दिए थे. अब लगातार कार्रवाई होने से अवैध कारोबारियों पर शिकंजा कस गया है.
70 प्रकरणों में अब तक 2664.54 क्विंटल धान जब्त
1 नवंबर से 5 दिसंबर के बीच जिले में कुल 70 मामलों में 2664.54 क्विंटल अवैध धान जब्त किया जा चुका है. सीमाओं पर चेक पोस्टों में सख्त निगरानी की जा रही है और संदिग्ध वाहनों की तलाशी भी बढ़ा दी गई है. प्रशासन का कहना है कि यह कार्रवाई किसानों के हितों की रक्षा के लिए की जा रही है, ताकि बाहरी और पुराने धान की अवैध बिक्री रोकी जा सके. इन कार्रवाइयों के कारण जिले में अवैध कारोबारियों में डर का माहौल है.
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