Bargi Diversion Project Work: मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के कटनी जिले (Katni) में कई इलाके सूखे की समस्या से जूझ रहे हैं. बावजूद इसके यहां के किसानों (Farmers) तक पानी पहुंचाने वाली परियोजनाएं अटकी पड़ी हैं. सालों से इन परियोजनाओं के पूरे होने का इंतजार किसान कर रहे हैं. लेकिन, उन्हें यह इंतजार अभी और कितना करना पड़ेगा, यह कहा नहीं जा सकता है. इसका सबसे बड़ा उदाहरण कटनी जिले की बरगी व्यपवर्तन परियोजना (Bargi Diversion Project) है. इस परियोजना के तहत नर्मदा का पानी लाने के लिए नहर का निर्माण कराया जा रहा है.
चौंकाने वाली बात यह है कि यह परियोजना साल 2011 से निर्माणाधीन है. इस परियोजना का निर्माण कार्य अब तक पूरा नहीं किया जा सका है. जबकि, इस नहर के माध्यम से नर्मदा का पानी लाने का लक्ष्य साल 2013 निर्धारित किया गया था. इस नहर निर्माण से कटनी जिले के साथ-साथ मैहर, सतना और रीवा जिले में भी पानी भेजा जाएगा.
10 साल से ज्यादा समय से हो रहा पानी का इंतजार
बरगी व्यपवर्तन परियोजना के पूरा नहीं होने के पीछे का कारण अंडर टनल निर्माण बताया जा रहा है. बता दें कि इस परियोजना के तहत कटनी जिले के स्लीमनाबाद के पास 12 किमी की अंडर टनल का निर्माण किया जाना है. लेकिन, निर्माण के दौरान तकनीकी खामियों के कारण अब तक पूरा ड्रिल नहीं हो सका है. जिससे 10 साल से भी ज्यादा समय से कटनी जिले के किसान नहर में पानी आने का इंतजार कर रहे हैं.
कटनी जिले के घुघरा के पास नहर में निहारते किसानों से एनडीटीवी की टीम ने चर्चा की. जिसमें किसानों ने नहर में पानी नहीं आने से उनकी खेती प्रभावित होने की बात कही है. बहोरीबंद तहसील क्षेत्र के किसान केदारनाथ ने बताया कि उनके इलाके में पानी की कमी है, लेकिन यदि यह नहर शुरू हो जाए तो क्षेत्र में पानी की सुगमता हो जाएगी. कई साल हो गए नहर को बने हुए पानी का इंतजार करते करीब दस साल हो गए.
पानी के बिना किसान हो रहे परेशान
वहीं, युवा किसान हीरू ने बताया कि दस साल से पानी नहीं आ रहा है, यदि नहर में पानी आ जाए तो खेती-बाड़ी अच्छी हो जाएगी. किसान दशरथ ने बताया कि हम तो दसों साल से पानी का इंतजार कर रहे हैं, लेकिन नहर में पानी नहीं आने से काफी परेशानी हो रही है. उनके पास 5 एकड़ कृषि जमीन है, लेकिन पठारी क्षेत्र होने से उनकी खेती ठीक से नहीं हो पा रही है. यदि नहर में पानी शुरू हो जाए तो सभी का भविष्य बन जाएगा.
एक अन्य किसान जुगल सिंह ने बताया कि नहर में पानी आने से क्षेत्र की समस्या दूर हो जाएगी और बहुत विकास होगा. युवा किसान आनंद ने बताया कि यहां पानी की कमी है, लेकिन यदि नहर में पानी आ जाएगा तो क्षेत्र की समस्या दूर हो जाएगी.
दिसंबर तक पूरा हो जाएगा टनल निर्माण का काम
बता दें कि बरगी व्यपवर्तन परियोजना की ठेका कंपनी हैदराबाद की पटेल एसईडब्ल्यू ज्वाइंट वेंचर है. इसी कंपनी के द्वारा इस परियोजना का निर्माण किया जा रहा है, जिसकी लागत 799 करोड़ रुपये है. नर्मदा विकास संभाग कटनी के असिस्टेंट इंजीनियर दीपक मंडलोई ने जानकारी देते हुए बताया कि स्लीमनाबाद के पास अंडर टनल निआन में दिसंबर 2024 का लक्ष्य रखा गया है, जिसके बाद इस नहर के शुरू होने में ज्यादा समय नहीं लगेगा.
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