Madhya Pradesh News : सुबह सात बजे से लेकर रात दस बजे तक सतना शहर (Satna City) में ट्रकों की आवाजाही प्रतिबंधित (No Entry) है. लेकिन जब तक रेलवे (Railway) का माल गोदाम शिफ्ट नहीं होता तब तह यह प्रतिबंध बेअसर ही दिख रहा है. यहां मनमानी पूर्वक परमिट दिखा कर भारी वाहनों की आवाजाही होती रहती है और हादसे भी उसी प्रकार हो रहे हैं. इन स्थितियों को देखते हुए सतना चेंबर ऑफ कामर्स (Satna Chamber Of Commerce) के व्यापारियों ने अब इसको लेकर बड़ा आंदोलन कर सकते हैं. आगामी 24 दिसंबर को व्यापारियों की संस्था ने सर्वदलीय बैठक बुलाई गई है. इस बैठक में माल गोदाम (Shifting of Railway Warehouse) को शिफ्ट करने की रणनीति पर चर्चा होगी.
क्यों जरूरी है माल गोदाम की शिफ्टिंग?
मालगोदाम से अनाज और खाद परिवहन की आड़ लेकर तमाम ट्रांसपोर्टरों (Transporters) के द्वारा प्रतिबंध की अवधि में वाहनों की आवाजाही कराई जाती है. जिसके चलते सतना में कई हादसे (Accidents) हुए और तमाम लोगों की जान चली गई. चूंकि यह सब अनुमति की आड़ में होता है, ऐसे में वह प्रभावी कार्रवाई नहीं हो पाती. लिहाजा व्यापारियों ने मांग रखी है कि माल गोदाम को कैमा स्टेशन में शिफ्ट किया जाए ताकि भारी वाहनों को शहर में आना ही नहीं पड़े. रेलवे का रैक लगने के बाद कैमा से ही उठाव किया जाए. विंध्य चेंबर के पूर्व अध्यक्ष विवेक अग्रवाल ने कहा कि 2012 में जब नो एंट्री प्रभावी हुई थी तब हादसों में काफी कमी आई थी. फिर इसे माल गोदाम की आड़ लेकर तोड़ा जाने लगा. ऐसे में यदि अब माल गोदाम ही नहीं रहे तो फिर अनुमति का खेल नहीं चल पाएगा.
व्यापारियों की मांग जायज... निर्देश के अनुसार करेंगे काम
इस मामले को लेकर यातायात पुलिस के डीएसपी (DSP of Traffic Police) संजय खरे ने कहा कि व्यापारियों की मांग को जायज है. लेकिन इस संदर्भ में रेल प्रबंधन और शासन-प्रशासन से जो भी निर्देश प्राप्त होंगे उसके अनुसार कदम उठाए जाएंगे. उन्होंने बताया कि यातायात पुलिस समय-समय पर अनुमतियों की जांच करती है, जो भी ट्रक दुरूपयोग करता पाया जाएगा उसके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी.
यह भी पढ़ें : कृष्ण के रंग में रंगे 'मोहन', CM ने कहा भारत तय करेगा दुनिया का स्टैंडर्ड टाइम, उज्जैन काल गणना का केंद्र