![International Archives Day: मध्य प्रदेश के 'इतिहास के पन्ने' देखने हैं... तो 9 से 15 जून तक इस खास प्रदर्शनी में आइए, जानिए क्या है यहां International Archives Day: मध्य प्रदेश के 'इतिहास के पन्ने' देखने हैं... तो 9 से 15 जून तक इस खास प्रदर्शनी में आइए, जानिए क्या है यहां](https://c.ndtvimg.com/2024-06/jmk38bn8_cnsvbv_625x300_08_June_24.jpg?im=FitAndFill,algorithm=dnn,width=773,height=435)
Archives Day in MP: विश्व अभिलेख दिवस (World Archive Day 2024) के अवसर पर 9 जून से मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) की अभिलेखीय विरासत पर आधारित दुर्लभ अभिलेखों और छायाचित्रों की प्रदर्शनी (Exhibition) “इतिहास के पन्ने”(1818-1956) का आयोजन किया जा रहा है. भोपाल (Bhopal) के श्यामला हिल्स स्थित राज्य संग्रहालय में आयोजित प्रदर्शनी 15 जून तक रहेगी. इस खास प्रदर्शनी में एमपी की भूतपूर्व रियासतों की झलक, तत्कालीन राजनैतिक घटनाओं, प्रशासनिक निर्णयों तथा अन्य विषयों से संबंधित ऐतिहासिक दस्तावेजों को प्रदर्शित किया गया है.
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World Archive Day 2024 in MP
इन ऐतिहासिक चीजों की दिखेगी झलक
अभिलेख दिवस के अवसर पर आयोजित खास प्रदर्शनी में मध्य प्रदेश की विभिन्न रियासतों के शासकों के छायाचित्र, मानचित्र, प्रतिक चिन्ह और वंशावली भी प्रदर्शित किये जाएंगे. उल्लेखनीय है कि वर्ष 1956 में राज्यों के पुनर्गठन के फलस्वरूप नये मध्य प्रदेश का निर्माण हुआ. नये मध्य प्रदेश में मध्य भारत, विंध्यप्रदेश, मध्यप्रांत (सेन्ट्रल प्रॉविन्सेस) एवं भोपाल राज्य को मिलाकर नया राज्य मध्य प्रदेश 1 नवंबर 1956 को अस्तित्व में आया. भोपाल को मध्य प्रदेश की राजधानी बनाया गया. बता दें कि प्रदर्शनी आम जनता के लिए 9 से 15 जून तक नि:शुल्क चलाई जाएगी.
![विश्व अभिलेख दिवस पर भोपाल में प्रदर्शनी का आयोजन विश्व अभिलेख दिवस पर भोपाल में प्रदर्शनी का आयोजन](https://c.ndtvimg.com/2024-06/q7gojilo_xvsklv-v_625x300_08_June_24.jpeg)
विश्व अभिलेख दिवस पर भोपाल में प्रदर्शनी का आयोजन
क्या है राष्ट्रीय अभिलेखागार में
वर्तमान में राष्ट्रीय अभिलेखागार के भंडारों में अभिलेखों का एक विशाल संग्रह है. इस संग्रह में फाइलें, वॉल्यूम, मानचित्र, भारत के राष्ट्रपति द्वारा स्वीकृत विधेयक, संधियां, दुर्लभ पांडुलिपियां, प्राच्य अभिलेख, निजी कागजात, कार्टोग्राफिक अभिलेख, राजपत्र और राजपत्रों का महत्वपूर्ण संग्रह, जनगणना के अभिलेख, विधानसभा और संसद की बहसें, प्रतिबंधित साहित्य, यात्रा वृत्तांत आदि भी शामिल हैं. सभी अभिलेखों का कलकत्ता से नई दिल्ली स्थानांतरण 1937 में पूरा हुआ. राष्ट्रीय अभिलेखागार सार्वजनिक अभिलेख अधिनियम, 1993 और सार्वजनिक अभिलेख नियम, 1997 के कार्यान्वयन के लिए नोडल एजेंसी भी है.
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