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Old Petrol Diesel Vehicles: पुराने पेट्रोल-डीजल वाहनों पर नहीं लगेगी रोक, सुप्रीम कोर्ट ने दी बड़ी राहत

Supreme Court on Old Vehicles Ban: सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली और एनसीआर क्षेत्र में 10 साल पुराने डीजल वाहनों और 15 साल पुराने पेट्रोल वाहनों के मालिकों पर दंडात्मक कार्रवाई पर अंतरिम आदेश दिया है. अब इन वाहनों के चलने पर रोक नहीं लगेगी.

Old Petrol Diesel Vehicles: पुराने पेट्रोल-डीजल वाहनों पर नहीं लगेगी रोक, सुप्रीम कोर्ट ने दी बड़ी राहत

Old Petrol Diesel Vehicle Rule: दिल्ली-एनसीआर (Delhi-NCR) में वाहन मालिकों को बड़ी राहत मिली है. सुप्रीम कोर्ट ने 10 वर्ष पुराने डीजल और 15 वर्ष पुराने पेट्रोल वाहनों पर बैन नहीं लगाया है. इससे वाहन मालिकों को दंडात्मक कार्रवाई नहीं होगी. CJI बीआर गवई, जस्टिस के विनोद चंद्रन और जस्टिस एनवी अंजारिया की पीठ ने मंगलवार को यह अंतरिम आदेश दिया है.

सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार को नोटिस जारी कर 4 हफ्तों के भीतर जवाब मांगा है. तब तक के लिए 10 से 15 साल पुराने डीजल और पेट्रोल वाहनों के मालिकों पर कोई भी दंडात्मक कार्रवाई नहीं की जाएगी. कोर्ट ने इस बात को स्पष्ट कर दिया है.

दिल्ली सरकार ने दायर की थी याचिका

26 जुलाई को दिल्ली सरकार ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाकर दिल्ली-एनसीआर क्षेत्र में चल रहे 10 साल से अधिक पुराने डीजल वाहनों और 15 साल से अधिक पुराने पेट्रोल वाहनों पर लगे प्रतिबंध की समीक्षा करने की मांग की थी. दिल्ली सरकार का तर्क है कि मौजूदा पॉलिसी से मध्यम वर्ग पर अनुचित दबाव पड़ रहा है.

दिल्ली सरकार ने 2018 के उस नियम पर पुनर्विचार करने की मांग की थी, जिसमें पुरानी गाड़ियों पर प्रतिबंध लगाया गया है. सुप्रीम कोर्ट से अनुरोध किया कि वह केंद्र सरकार या वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (सीएक्यूएम) को एक व्यापक वैज्ञानिक अध्ययन करने का निर्देश दे. यह अध्ययन वाहनों की उम्र के आधार पर लगाए गए प्रतिबंध के वास्तविक पर्यावरणीय प्रभाव का आकलन करेगा और मूल्यांकन करेगा कि क्या यह कदम राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) में वायु गुणवत्ता सुधार में महत्वपूर्ण योगदान देता है.

याचिका में कहा गया कि सभी वाहनों पर पूर्ण प्रतिबंध को लेकर पड़ने वाले असर और निष्पक्षता की दोबारा जांच की जाए. सरकार एक अधिक सटीक, उत्सर्जन-आधारित नियामक ढांचे की वकालत करती है, जो वाहन की उम्र के बजाय उससे होने वाले वायु प्रदूषण और गाड़ी की फिटनेस को ध्यान में रखे.

दिल्ली सरकार ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि बीएस-6 वाहन, बीएस-4 वाहनों की तुलना में काफी कम प्रदूषण फैलाते हैं.

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