विज्ञापन

New CJI: भारत के 52वें CJI बने जस्टिस बीआर गवई, शपथ लेते ही मां के छुए पैर, पीएम मोदी समेत पूरी कैबिनेट हुई शामिल

New Chief Justice of India: जस्टिस भूषण रामकृष्ण गवई ने भारत के नए मुख्य न्यायाधीश के तौर पर शपथ ली है. वे सुप्रीम कोर्ट के 52वें सीजेआई हैं. शपथ ग्रहण में पीएम मोदी समेत पूरी केंद्रीय कैबिनेट शामिल हुई.

New CJI: भारत के 52वें CJI बने जस्टिस बीआर गवई, शपथ लेते ही मां के छुए पैर, पीएम मोदी समेत पूरी कैबिनेट हुई शामिल
भारत के नए सीजेआई के रूप में बीआर गवई ने ली शपथ

BR Gavai New CJI: भारत को नया चीफ जस्टिस मिल गया है. जस्टिस भूषण रामकृष्ण गवई ने आज, बुधवार को सुप्रीम कोर्ट के नए मुख्य न्यायाधीश के तौर पर शपथ ली है. बता दें कि वे सुप्रीम कोर्ट के 52वें सीजेआई बने हैं. देश के इस अहम पद पर बैठने से पहले उन्होंने अपनी मां का आशीर्वाद लिया. CJI पद की शपथ लेते ही सबसे पहले उन्होंने अपनी मां कमलताई गवई के पैर छुए. इस शपथ ग्रहण समारोह में पीएम नरेंद्र मोदी, राजनाथ सिंह, एस जयशंकर, अमित शाह समेत पूरी केंद्रीय कैबिनेट भी शामिल हुई.

Latest and Breaking News on NDTV

क्यों खास है जस्टिस गवई का शपथ ग्रहण?

जस्टिस भूषण रामकृष्ण गवई ने भारत के 52वें चीफ जस्टिस के रूप में शपथ लिया है. ये पहले बौद्ध सीजेआई हैं. बता दें कि आजादी के बाद वह देश में दलित समुदाय से दूसरे सीजेआई हैं. सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस के तौर पर उनका कार्यकाल छह महीने का ही होगा.

सीजेआई गवई ने ली चीफ जस्टिस पद की शपथ

सीजेआई गवई ने ली चीफ जस्टिस पद की शपथ

इन मामलों में रहे हैं अहम

जस्टिस गवई ने 1990 के बाद मुख्य रूप से बॉम्बे हाई कोर्ट की नागपुर बेचं में प्रैक्टिस की, जिसमें संवैधानिक और प्रशासनिक कानून विशेष क्षेत्र रहे. वह नागपुर नगर निगम, अमरावती नगर निगम और अमरावती विश्वविद्यालय के लिए स्थायी वकील रहे. इसके अलावा, उन्होंने सीकोम, डीसीवीएल जैसी विभिन्न स्वायत्त संस्थाओं और निगमों, विदर्भ क्षेत्र की कई नगर परिषदों के लिए नियमित रूप से पैरवी की.

ये भी पढ़ें :- सीएम मोहन यादव की निवेशकों से वन टू वन चर्चा, बेंगलुरु में 2100वें मेट्रो कोच के उद्घाटन समारोह में होंगे शामिल

जस्टिस गवई का जीवन परिचय

भारत के नए CJI जस्टिस गवई का जन्म 24 नवंबर 1960 को महाराष्ट्र के अमरावती में हुआ था. उन्होंने 16 मार्च 1985 को वकालत शुरू की. शुरुआती सालों में उन्होंने बार. राजा एस. भोसले (पूर्व महाधिवक्ता एवं उच्च न्यायालय के न्यायाधीश) के साथ 1987 तक कार्य किया. इसके बाद 1987 से 1990 तक उन्होंने बॉम्बे हाई कोर्ट में स्वतंत्र रूप से प्रैक्टिस की.

ये भी पढ़ें :- शादी की बारात में दूल्हे की जगह घोड़ी पर सवार थी दुल्हन, इस पुरानी परंपरा को किया पुनर्जीवित

MPCG.NDTV.in पर मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ की ताज़ातरीन ख़बरों को ट्रैक करें. देश और दुनियाभर से न्यूज़ अपडेट पाएं. इसके अलावा, मनोरंजन की दुनिया हो, या क्रिकेट का खुमार,लाइफ़स्टाइल टिप्स हों,या अनोखी-अनूठी ऑफ़बीट ख़बरें,सब मिलेगा यहां-ढेरों फोटो स्टोरी और वीडियो के साथ.

फॉलो करे:
Close