Bhasm Aarti : मध्य प्रदेश के उज्जैन में विश्व प्रसिद्ध श्री महाकालेश्वर मंदिर (Makaleshwar mandir) में नौ दिनों से चल रही शिव नवरात्रि (Shiv Navratri) में शनिवार का दिन विशेष रहा. समापन के मौके पर परंपरानुसार भस्म आरती की गई. बता दे कि इस तरह से दोपहर में भस्म आरती वर्ष में सिर्फ एक बार होती है और इसी दौरान दूल्हा बने बाबा का सेहारा प्रसाद के रूप में वितरित होता है.
ऐसे सजे हैं बाबा
विश्व प्रसिद्ध श्री महाकालेश्वर मंदिर (Makaleshwar mandir) में शनिवार तड़के 4 बजे बाबा महाकाल को फूलों और सप्त धान का सेहरा सजाया गया. इसके बाद सुबह 6 बजे सेहरा आरती के श्रद्धालुओं ने दर्शन किए. इसके बाद सेहरा उतार कर साल में एक बार दोपहर को होने वाली भस्म आरती की गई. इसके बाद भक्तों ने प्रसाद के रुप में बाबा का सेहरा उतारा जाएगा. मान्यता है कि सेहरा घर में रखने से सब सुखी रहते हैं और धन-धान्य का भंडार रहता है. इसी दोपहर में ही भगवान महाकाल की भोग आरती के साथ शिवनवरात्रि पर्व का समापन होगा.
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44 घंटे से दर्शन
बता दें कि महाशिवरात्रि पर्व के चलते 9 दिनों से बाबा महाकाल अलग-अलग स्वरुप में भक्तों को दर्शन दे रहे हैं. वहीं शुक्रवार रात 2:30 बजे बाबा महाकाल के भस्म आरती के बाद से ही शनिवार दोपहर तक दर्शन का क्रम चलता रहा है. खास बात यह रही कि महाशिवरात्रि पर्व को देखते हुए बाबा महाकाल के गर्भगृह से लेकर मंदिर परिसर के सभी छोटे-बड़े मंदिरों को देशी-विदेशी फूलों से सजाया गया है. वहीं प्रशासन ने चाक-चौबंद व्यवस्थाएं की हैं.