मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के छतरपुर (Chhatarpur) के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र हरपालपुर में बुधवार को डॉक्टरों की लापरवाही से एक गर्भवती महिला की मौत का मामला सामने आया है. मंगलवार की दोपहर गर्भवती महिला के पेट में दर्द शुरू हुआ, जिसके बाद परिजन इलाज के लिए सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र हरपालपुर लेकर आए. वहीं मंगलवार की शाम महिला की डिलीवरी हुई. इस दौरान जच्चा बच्चा दोनों स्वस्थ थे, लेकिन देर रात महिला की तबीयत अचानक बिगड़ गई, जिसके बाद डॉक्टर ने महिला को जिला अस्पताल रेफर कर दिया. जिला अस्पताल में इलाज के दौरान बुधवार की सुबह महिला मौत हो गई.
प्रसव के बाद महिला की मौत
जानकारी के मुताबिक, भदर्रा के रहने वाले दीपक अहिरवार की पत्नी किरण (23 वर्ष) की पहली डिलीवरी थी. वहीं मंगलवार की दोपहर 3:00 बजे महिला के पेट में दर्द हुआ, जिसके बाद परिजन डिलीवरी के लिए सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र हरपालपुर लेकर गए, जहां शाम 7:00 महिला की डिलीवरी हुई. इस दौरान जच्चा-बच्चा दोनों स्वस्थ थे, लेकिन महिला की अचानक रात 11:00 बजे तबीयत बिगड़ गई. जिसके बाद डॉक्टर ने उसे जिला अस्पताल के लिए रेफर कर दिया.
महिला को रात 12:00 बजे जिला अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती किया गया. वहीं डॉक्टर ने महिला को खून की कमी बताई, जिसके बाद परिजनों ने दो बोतल खून भी चढ़वाया, लेकिन बुधवार की सुबह 6 बजे महिला की मौत हो गई. हालांकि बच्चा स्वस्थ है.
परिजनों ने स्वास्थ्य केंद्र पर लगाए लापरवाही के आरोप
मृतक की सास फूलवती ने बताया कि बहू के पेट में दर्द हुआ था, जिसके बाद उसे हरपालपुर अस्पताल ले गए थे, जहां उसकी डिलीवरी हुई. तब बहू और बच्चा दोनों स्वस्थ थे, लेकिन कुछ समय बाद ब्लीडिंग चालू हो गई. इसके बाद कई बार डॉक्टर और नर्स को बुलाया गया, लेकिन कोई मौके पर नहीं आया. जब बहू की तबीयत ज्यादा बिगड़ी तो नर्स से बात की गई. नर्स ने तुरंत जिलाअस्पताल ले जाने की बात कही, जहां इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई. उन्होंने कहा कि अगर बहू का समय पर इलाज हो जाता तो उसकी मौत नहीं होती.
सीएमएचओ आरपी गुप्ता ने बताया कि इस मामले की मुझे जानकारी है. जांच के आदेश दिए गए हैं. जांच के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी.