Chhattisgarh Farmers: अंबिकापुर के सहकारी समितियों की हालत खस्ता, आए दिन कर रहे किसान विरोध, जानें - पूरा मामला

Fertilizer Problem in Chhattisgarh: सरगुजा जिले में किसानों को बहुत परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. यहां आए दिन किसान सरकार और प्रशासन के प्रति अपना विरोध जता रहे हैं. आइए आपको पूरे मामले के बारे में विस्तार से जानकारी देते हैं.

विज्ञापन
Read Time: 3 mins
किसानों को डीएपी खाद के लिए हो रही परेशानी

Latest News in Hindi: छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) के आदिवासी बाहुल्य सरगुजा (Surguja) जिले के सहकारी समितियों में खाद का भण्डारण कम होने से जिले के किसान परेशान हैं. किसानों को खाद नहीं मिलने से किसान कहीं चक्का जाम तो कहीं आंदोलन कर रहे हैं. पिछले दो दिनों से जिले के सेदम, बटवाही और अब लुण्ड्रा सहकारी समिति में खाद की कमी को लेकर किसान रैली निकाल कर अपना विरोध जता रहे हैं. किसानों को DAP खाद क्यों नहीं मिल पा रहा है, इसका जवाब जिला प्रशासन के अधिकारी देने से बच रहे हैं. दूसरी ओर कांग्रेस इसे सरकार की लापरवाही और किसानों के साथ ऐन वक्त में धोखा देने का आरोप लगा रही है.

सरगुजा के किसानों का हाल बेहाल

क्या है डीएपी खाद नहीं मिलने का पूरा मामला?

दरअसल, बारिश के साथ जिले के किसान इन दिनों खेती-किसानी के काम में जुट गए हैं, लेकिन सहकारी समितियों में DAP खाद की कमी से किसान काफी परेशान हैं. किसानों की मानें, तो अगर समय से DAP खाद नहीं मिला, तो इसका असर धान की पैदावार पर पड़ेगा. वहीं, खुली बाजार में डीएपी की कीमत बहुत ज्यादा है, जिससे गरीब किसान इसे नहीं ले सकते हैं. बहरहाल, जिले के लुण्ड्रा के बटवाही स्थित सहकारी समिति में भी किसानों का हाल बेहाल हो चुका है. लगभग 900 किसान पंजीकृत हैं और औसतन एक किसान को 10 बोरी डीएपी खाद की आवश्यकता है. लेकिन, सहकारी समिति बटवाही में अब तक 700 बोरी ही डीएपी खाद का भंडारण हो सका है.

Advertisement

यहां के किसानों ने किया एनएच को जाम

सीतापुर के सेदम सहकारी समिति में तो विवाद इतना बढ़ गया कि किसानों ने NH-43 जाम कर दिया. आनन-फानन में जिला प्रशासन के अधिकारी मौके पर पहुंचे और किसानों को शांत कराते हुए उन्हें डीएपी खाद देने का आश्वासन दिया. यही हाल लुण्ड्रा सहकारी समिति में भी देखने को मिला, जहां किसानों को खाद नहीं मिलने से नाराज किसानों ने नारेबाजी करते हुए रैली निकाली और सरकार से तत्काल खाद की मांग की है.

Advertisement

ये भी पढ़ें :- 'चारा घोटाला' तो सुना होगा अब जानिए MP का 'भैंस घोटाला' ! आदिवासियों का हक ऐसे मार रहे हैं रसूखदार

Advertisement

कांग्रेस का सरकार पर आरोप

इस मामले में जिला कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता आशीष वर्मा का कहना है कि सहकारी समितियों में डीएपी खाद की कमी है. कांग्रेस लगातार इस बात को उठा रही है, लेकिन सरकार का इस ओर कोई ध्यान नहीं है. उन्होंने कहा कि खुली बाजार में जो खाद उपलब्ध है, उसकी कीमत बहुत ज्यादा है. किसानों को नगद देकर खरीदना पड़ेगा. ऐसे में केसीसी को इसका लाभ नहीं मिलेगा.

ये भी पढ़ें :- Indian Railways: अब ग्वालियर से बेंगलुरु जाना और भी आसान, सिंधिया ने दिखाई नई स्पेशल ट्रेन को हरी झंडी