गेट पर लटके ताले इस बात की तस्दीक दे रहे है की लाखों रुपए खर्च कर कृष्णकुंज का निर्माण तो कर दिया गया लेकिन इसके गेट के ताले आज तक नहीं खुले... दरअसल बेमेतरा के नगरीय निकाय में लाखों रुपए खर्च कर आक्सीजोन का निर्माण कराया गया था ताकि शहर के लोगों को शुद्ध हवा और हरियाली का फायदा मिल सके । लेकिन निर्माण के दो साल बाद भी कृष्णकुंज का ताला नहीं खोला गया । अब हालात ये है की जिस पाथवे पर लोग घूमते वहाँ घर पतवार उगाए हैं । कृष्णकुंज के लोकार्पण के बाद वन विभाग ने इस ओर देखा तक नहीं जिसके चलते आक्सीजोन जंगल में तब्दील हो गया...