केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज ने किसानों के जीवन में खुशहाली लाने का बताया पूरा प्लान, बोले- ये काम कर रहे हैं हम

केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने रविवार को मध्य प्रदेश के किसानों को केंद्र सरकारी की ओर से किसानों के कल्याण के लिए उठाए गए कदम की जानकारी दी. इसके साथ ही उन्होंने बताया कि किसानों की हालत सुधारने और आय में वृद्धि के लिए क्या-क्या कदम उठाए जा रहे हैं.

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Shivraj Singh Chouhan : मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) के विदिशा (Vidisha) लोकसभा क्षेत्र के खाते गांव में रविवार को केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान (Shivraj Singh Chouhan) प्रदेश के किसानों (Farmers) , महिलाओं  और  युवाओं से संवाद किया. इस मौके पर उन्होंने किसानों की जिंदगी बदलने का पूरा प्लान बताया. इस मौके पर केंद्र सरकार के किसानों से जुड़े फैसलों की केंद्रीय मंत्री शिवराज सिंह सीएम चौहान ने हर एक जानकारी साझा की.

चौहान ने बताया कि गैर-बासमती चावल के निर्यात को खोलने और न्यूनतम निर्यात मूल्य के मूल्य निर्धारण को मंजूरी दे दी गई. इसके मुताबिक, गैर-बासमती सफेद चावल पर 490 डॉलर प्रति टन का न्यूनतम निर्यात मूल्य तय किया गया है. इसके अलावा, पेरबोइल्ड और ब्राउन चावल पर शुल्क 20% से घटाकर 10% कर दिया गया है. उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार का ये कदम चावल उत्पादक किसानों के आर्थिक सुदृढ़ीकरण की दिशा में बड़ा कदम है. किसान अब न्यूनतम निर्धारित मूल्य से अधिक कीमत पर ही अपनी उपज निर्यात कर सकेंगे. किसान हितैषी सरकार ने पूर्व में भी लिए कई कल्याणकारी निर्णय किए हैं. चौहान ने बताया कि बासमती चावल पर भी मिनिमम एक्सपोर्ट प्राइस समाप्त करने का निर्णय लिया गया है, जिससे बासमती चावल के उत्पादक किसान इनका निर्यात करके अधिकतम मुनाफा प्राप्त कर पाएंगे. 

खाद्य तेल व प्याज उत्पादकों के लिए भी उठाया कदम

उन्होंने बताया कि खाद्य तेलों के आयात शुल्क को बढ़ाकर 20% किया गया है. रिफाइंड तेल पर शुल्क बढ़ाकर 32.5% किया गया है. इस निर्णय से सोयाबीन, सूरजमुखी और मूंगफली उत्पादक किसानों को होगा आर्थिक लाभ. इसके अलावा, प्याज पर निर्यात शुल्क 40% था, जिसे घटाकर 20% किया गया, इस निर्णय से प्याज उत्पादक किसानों को ठीक दाम मिलेंगे.

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दलहन की होगी 100 फीसदी खरीदी

उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 61 फसलों की 109 किस्मों में 34 क्षेत्रीय फसलें और 27 बागवानी फसलों की नई किस्में किसानों को समर्पित की, जिससे कृषि उत्पादकता में वृद्धि होगी. केंद्रीय कृषि और किसान कल्याण व ग्रामीण विकास मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने तुअर, उड़द और मसूर उत्पादक किसानों के लिए 100% खरीदी का आश्वासन दिया. चौहान ने बताया कि वर्ष 2025-26 तक दलहनी फसलों के क्षेत्र विस्तार और उत्पादकता में सुधार का लक्ष्य और वर्ष 2027-28 तक आत्मनिर्भरता का लक्ष्य है. शिवराज ने कहा कि सोयाबीन न्यूनतम समर्थन मूल्य पर खरीदा जाएगा. प्रदेश सरकार के प्रस्ताव को स्वीकार कर केन्द्र ने अनुमति दे दी है. चौहान ने बताया कि इस इलाके की सबसे प्रमुख समस्या थी पानी, लेकिन अब रेवा सिंचाई परियोजना से पूरा खातेगांव सिंचित होगा.

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पीएम फसल बीमा के तहत महाराष्ट्र परभणी जिले के 2 लाख किसानों को लगभग ₹200 करोड़ से अधिक लंबित क्लेम का भुगतान किया गया. राष्ट्रीय नाशीजीव (कीट) निगरानी प्रणाली (NPSS) लॉन्च किया गया, जिसके माध्यम से किसान को कीट की सटीक पहचान और प्रबंधन हेतु शीघ्र सलाह दी जाती है.

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