MP News: महिला शिक्षक ने अपनी जगह पढ़ाने के लिए रखी हुई थी प्राइवेट टीचर, जांच के बाद की गई निलंबित

Satna News: प्राथमिक शिक्षक सरिता सिंह के खिलाफ दूसरी बार निलंबन की कार्रवाई हुई है. बताया जा रहा है कि सरिता सिंह सतना शहर की रहने वाली हैं. ऐसे में वह समय पर कभी स्कूल नहीं पहुंचत पाती थीं. स्कूल आने-जाने से बचने के लिए उन्होंने अपने स्तर पर एक शिक्षक रखा जो उनकी जगह पढ़ाई कराती थी.

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Satna News: महिला शिक्षक को किया गया निलंबित

Madhya Pradesh News: सरकारी स्कूल में नियम के खिलाफ टीचर रखने के मामले में जिला शिक्षा अधिकारी ने एक महिला शिक्षक को निलंबित कर दिया है. महिला शिक्षक ने अपने स्थान पर पढ़ाने के लिए एक महिला को नियुक्त कर रखा था, जिसका वो स्वयं के खर्च से भुगतान कर रही थी. बीजेपी विधायक के द्वारा यह मामला अधिकारियों के संज्ञान में लाया गया जिसके बाद बीआरसी ने जांच प्रतिवेदन प्रस्तुत किया. इसी के आधार पर महिला शिक्षक को निलंबित कर बीईओ कार्यालय नागौद अटैच कर दिया गया है.

पूरा मामला प्राथमिक विद्यालय साड़ा का है

ये पूरा मामला मझगवां विकासखंड के नकैला संकुल केन्द्र अंर्तगत आने वाले प्राथमिक विद्यालय साड़ा का है. यहां पदस्थ महिला प्राथमिक शिक्षक सरिता सिंह ने अनाधिकृत तौर पर मीना यादव नाम की महिला को पढ़ाने के लिए नियुक्त कर दिया था. बताया जा रहा है कि महिला शिक्षक ने अपने स्थान पर महिला को नियुक्त किया था ताकि वह बच्चों को पढ़ाए. शायद शायकीय शिक्षक को खुद पढ़ाने से डर लगता था इसलिए उन्होंने अपने खर्च पर दूसरी महिला को नियुक्त कर रखा था.

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विधायक ने की थी कार्रवाई की पहल

दरअसल चित्रकूट के विधायक सुरेन्द्र सिंह गहरवार विगत दिनों क्षेत्र भ्रमण पर निकले हुए थे. इसी दौरान ग्रामीणों ने बताया कि विद्यालय में पदस्थ शिक्षक स्कूल नहीं आती है. और इसने किसी अन्य महिला को अपनी जगह पर काम में लगा रखा है. यह मामला विधायक ने सीईओ के संज्ञान में डाला जिसके बाद सीईओ जिला शिक्षा अधिकारी से जांच करने को कहा गया. डीईओ के आदेश पर बीआरसी मझगवां भ्रमण पर पहुंचे. बच्चों के बयान लिए गए. बच्चों  ने बताया कि मीना मैडम क्लास में पढ़ाती हैं. इसके बाद उन्होंने अपना प्रतिवेदन दिया और महिला शिक्षक को निलंबित कर दिया गया.

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दूसरी बार हुई निलंबन की कार्रवाई

प्राथमिक शिक्षक सरिता सिंह के खिलाफ दूसरी बार निलंबन की कार्रवाई हुई है. बताया जा रहा है कि सरिता सिंह सतना शहर की रहने वाली हैं. ऐसे में वह समय पर कभी स्कूल नहीं पहुंचत पाती थीं. स्कूल आने-जाने से बचने के लिए उन्होंने अपने स्तर पर एक शिक्षक रखा जो उनकी जगह पढ़ाई कराती थी. बदले में कुछ पैसे शिक्षक को देती थी. लेकिन जब शासन ने उन्हें पढ़ाने की नौकरी दी है. और वह हर महीने मोटा वेतन पाती हैं तब भी वो क्यों नहीं पढ़ातीं? फिलहाल अब इस मामले की विस्तृत जांच होगी. 

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