Road Accident: भोपाल के VIP रोड पर सड़क हादसे में घायल शख्स की 10 मिनट तक सांसे चल रही थी, लोग उठाने से डरते रहे...

Road Accident: मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में मंगलवार को दिल दहला देने वाली घटना सामने आई. यहां एक रोड हादसे में पति-पत्नी घायल हो गए. इस दौरान घायल तड़पते रहे और लोग उन्हें अस्पताल पहुंचाने के बजाय वीडियो बनाते नजर आए, जिससे युवक की मौत हो गई.

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Road Accident in Bhopal: मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) की राजधानी भोपाल (Bhopal) के खानू गांव के पास वीआईपी रोड पर हुए सड़क हादसे (Road Accident) में एक युवक की मौत हो गई, जबकि उसकी पत्नी गंभीर रूप से घायल हो गई. मृतक की पहचान आकाश मालवीय के रूप में हुई है. हादसा उस वक्त हुआ, जब दंपति लाल घाटी से गुजर रहे थे और उनकी बाइक डिवाइडर से टकराकर सड़क के दूसरी ओर जा गिरी. हादसे के बाद आकाश को गंभीर चोटें आईं और अस्पताल ले जाने पर उन्हें मृत घोषित कर दिया गया.

परिजनों ने किया सनसनीखेज खुलासा

मृतक के भाई अंशु मालवीय और नितिन मालवीय ने पुलिस पर गंभीर आरोप लगाए हैं. उनका कहना है कि हादसे के बाद 10 मिनट तक आकाश की सांसें चल रही थीं, लेकिन वहां मौजूद लोग उसे उठाने से डर रहे थे. अंशु मालवीय ने बताया कि पुलिस घटनास्थल पर मौजूद थी, लेकिन वे सिर्फ देख रहे थे. पब्लिक वीडियो बना रही थी. पुलिस ने पहले सीएम का काफिला निकलवाया और उसके बाद एंबुलेंस बुलाई.नितिन मालवीय ने बताया कि खानू गांव से हमीदिया अस्पताल ज्यादा दूर नहीं था. 5 मिनट में पहुंचा जा सकता था, लेकिन 10 मिनट की देरी ने आकाश की जान ले ली.

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पुलिस ने ये दी सफाई

हादसे पर प्रतिक्रिया देते हुए एसीपी ट्रैफिक बसंत कुमार कौल ने कहा कि हादसे के वक्त कोई भी वीआईपी मूवमेंट नहीं था. उन्होंने बताया कि वीआईपी मूवमेंट का समय करीब पौने 8 बजे था, जबकि हादसा एक घंटे पहले हुआ था. दंपति बाइक पर तेज गति से जा रहे थे और हेलमेट न पहनने की वजह से गंभीर चोटें आईं, जिससे उनकी मौत हो गई. कौल ने बताया कि ब्लीडिंग ज्यादा होने की वजह से दोपहिया या ऑटो से अस्पताल पहुंचाना संभव नहीं था. ट्रैफिक जवान ने तुरंत कंट्रोल रूम, डायल 100, और 108 को जानकारी दी. सड़क खाली करवाने के बाद डायल 100 की गाड़ी से दोनों को अस्पताल पहुंचाया गया.

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हादसे के वक्त सबने की गलती

  • तेज रफ्तार और हेलमेट न पहनना: बाइक की तेज गति और हेलमेट न पहनने के कारण आकाश को सिर में गहरी चोटें आईं.
  • लोगों की लापरवाही: हादसे के बाद मौके पर मौजूद लोग मदद करने की बजाय वीडियो बनाने में लगे रहे.
  • पुलिस की प्रतिक्रिया: पुलिस ने तुरंत कंट्रोल रूम और एंबुलेंस को सूचित किया, लेकिन घटनास्थल पर मौजूद परिजनों का कहना है कि एंबुलेंस देर से पहुंची. 
  • परिवार का दर्द: परिजनों का कहना है कि यदि समय रहते मदद मिलती, तो आकाश की जान बचाई जा सकती थी. उनका आरोप है कि पुलिस और स्थानीय लोगों ने समय पर सक्रियता नहीं दिखाई.

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पुलिस और प्रशासन का जवाब

वहीं, इस मामले में पुलिस प्रशासन का कहना है कि वीआईपी मूवमेंट के कारण कोई देरी नहीं हुई. हालांकि, हेलमेट न पहनने और तेज गति से वाहन चलाने जैसे कारणों को हादसे की मुख्य वजह बताया जा रहा है. कुल मिलाकर यह घटना एक बार फिर सड़क सुरक्षा नियमों के पालन और दुर्घटना के समय त्वरित मदद की आवश्यकता को रेखांकित करती है. हेलमेट जैसे सुरक्षा उपायों को अनदेखा करने से जानलेवा स्थिति पैदा हो गई. इसके साथ ही, आम जनता को भी ऐसी घटनाओं में संवेदनशीलता दिखानी चाहिए और पीड़ितों की मदद के लिए आगे आना चाहिए, लेकिन इस घटना में इसका अभाव नजर आया. 

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