वर्ष 2025 को बीतने में अब कुछ ही घंटे बचे हैं और नए साल 2026 का लोगों को बेसब्री से इंतजार है. बीतने वाला यह साल कई मायनों में याद रखा जाएगा, खासकर मध्य प्रदेश के लिए. क्योंकि राज्य को इस वर्ष बहुत कुछ मिला है. सबसे बड़ी सौगात तो एमपी को मेट्रो की मिली है, जहां राज्य में पहली बार मैट्रो दौड़ी. इस मध्य प्रदेश को कई रेलवे प्रोजेक्ट की भी मंजूरी मिली. भोपाल में आयोजित हुए ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट (GIS-2025) के जरिए राज्य को 2.5 लाख करोड़ से भी ज्यादा निवेश प्रस्ताव प्राप्त हुए थे. आइए यहां पॉइंट में जानिए इस साल एमपी को क्या मिला और क्या रही उपलब्धियां...
1. पहली बार दौड़ी मेट्रो
मध्य प्रदेश के दो शहरों को इस साल मेट्रो मिली. सबसे पहले इंदौर ने बाजी मारी और दूसरी ओर साल के खत्म होते-होते भोपाल को भी मेट्रो की सौगात मिल गई. मध्य प्रदेश में पहली मेट्रो इंदौर में 31 मई से शुरू हुई. इसके बाद भोपाल में 22 दिसंबर को मेट्रो का कमर्शियल रन शुरू हो गया था. इंदौर में अभी मेट्रो गांधी नगर से सुपर कॉरिडोर स्टेशन 3 तक मेट्रो चल रही है, जो लगभग 6 किमी का है. इंदौर में कुल 31.32 किलोमीटर लम्बा मेट्रो रेल गलियारा बनाया जाना है, जिसकी प्रस्तावित लागत 7,500.80 करोड़ रुपये है. वहीं, भोपाल में एम्स से सुभाषनगर के बीच चलाई जा रही है, जिसमें कुल 8 स्टेशन हैं. भोपाल मेट्रो के कॉरिडोर बढ़ाने का काम जारी है.
2. मध्य प्रदेश में नक्सलियों का खात्मा
मध्य प्रदेश अब नक्सलियों से पूरी तरह मुक्त हो गया है. 12 दिसंबर को मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने राज्य को नक्सल फ्री होने का दावा किया था, क्योंकि 11 दिसंबर को बचे हुए दो नक्सलियों ने हथियार डाल दिया था. बता दें कि केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने पूरे देश से नक्सलवाद को खत्म करने के लिए मार्च 2026 तक लक्ष्य रखा है.
3. जीआईएस-2025 के जरिए राज्य को निवेश
इसी साल फरवरी में हुए ग्लोबल इन्वेटर्स समिट 2025 (Global Investors Summit 2025) में देश और दुनिया से दिग्गज उद्योगपति इकट्ठा हुए. इसमें कई कंपनियों ने राज्य में निवेश करने का प्रस्ताव दिया. राज्य में निवेश के लिए यह जीआईएस का पहला आयोजन था, इसका मकसद राज्य में बड़ी संख्या में फैक्ट्री, कंपनियां लगाना और लोगों को रोजगार देना था. मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव ने दावा किया कि दो दिनों तक चले इस आयोजन में राज्य को कंपनियों और उद्योगपति की ओर से ₹26.61 लाख करोड़ के निवेश का प्रस्ताव मिला.
4. रेलवे प्रोजेक्ट मिले और कोच बनेंगे
इसी साल ओबेदुल्लागंज में रेल कोच निर्माण इकाई की शुरुआत हुई. मेक इन इंडिया के तहत 60 हेक्टेयर से अधिक क्षेत्र में इस कारखाने का निर्माण हो रहा है, जहां पर ट्रेन कोच बनाए जाएंगे. इससे बड़ी संख्या में लोगों को रोजगार मिलेगा. बीईएमएल लिमिटेड रायसेन के ओबेदुल्लागंज में 1,800 करोड़ रुपये की लागत से 'ब्रह्मा परियोजना (बीईएमएल रेल हब फॉर मैन्युफैक्चरिंग)' का निर्माण कर रहा है. इस कारखाने में मेट्रो और वंदे भारत के कोच तैयार हुआ करेंगे.
इसके अलावा अक्टूबर में एमपी को दो रेलवे परियोजनाओं के लिए मंजूरी मिली है. जिसमें एक परियोजना वडोदरा-रतलाम रेल लाइन है. इससे एमपी और गुजरात के बीच कनेक्टविटी बढ़ेगी और आवागमन सुगम हो जाएगा. वहीं, दूसरी इटारसी-भोपाल-बीना रेल लाइन हैं. इससे इटारसी से बीना की दूरी कम होगी. इसके अलावा एमपी को कई ट्रेनें भी दी जाएंगी. इसके साथ ही महू-खंडवा आमान परिवर्तन परियोजना पर भी काम चल रहा है. इससे इंदौर और मुंबई के बीच की दूरी कम हो जाएगी.
6. लाडली बहना योजना की राशि 1500 रुपये की
मध्य प्रदेश की लाडली बहना योजना के लाडली बहनों की राशि इस साल बढ़ाकर 1500 रुपये कर दी गई थी. बता दें कि मार्च 2023 से 1000 रुपये मासिक आर्थिक सहायता राशि के साथ योजना प्रारंभ की गई थी.
7. धार को पीएम मित्र पार्क की सौगात
सितंबर माह में पीएम मोदी ने धार जिले मध्यप्रदेश से बड़ी औद्योगिक शुरूआत करते हुए "पीएम मित्र पार्क" का उद्घाटन किया. इसके निर्माण के बाद राज्य और भारत की टेक्सटाइल इंडस्ट्री को नई ऊर्जा मिलेगी. पीएम मित्र पार्क 2158 एकड़ में बनेगा. इससे 3 लाख लोगों को रोजगार मिलेगा. यहां 20 MLD का कॉमन एफ्लुएंट ट्रीटमेंट प्लांट, 10 MVA का सौर ऊर्जा संयंत्र, पानी और बिजली की पुख्ता आपूर्ति, आधुनिक सड़कें और 81 प्लग-एंड-प्ले यूनिट्स जैसी व्यवस्थाएँ विकसित की जा रही हैं
8. मध्य प्रदेश में बनाया जाएगा टाइगर कॉरिडोर
इसी साल मध्य प्रदेश में टाइगर कॉरिडोर बनाने की मंजूरी मिली. राष्ट्रीय वन्यजीव बोर्ड की स्थायी समिति ने मध्य प्रदेश के बाघ आवास क्षेत्रों में तीन परियोजनाओं–ग्रेटर पन्ना लैंडस्केप, संजय डबरी टाइगर रिजर्व और रातापानी टाइगर रिजर्व को मंजूरी दी है. परियोजना के अनुसार, पन्ना टाइगर रिजर्व की टाइगर संरक्षण योजना के तहत स्वीकृत वन्यजीव कॉरिडोर के भीतर तथा उसके आसपास की 266.302 हेक्टेयर राजस्व भूमि पट्टे पर दी जाएगी.
वन्यजीवों के लिए पहला रेड कार्पेट एमपी में बिछा
मध्य प्रदेश में जबलपुर–भोपाल मार्ग पर NH-45 के जंगल क्षेत्र में देश की पहली लाल उभरी (Red Table Top) सड़क बनाई गई है. करीब 2 किलोमीटर लंबे घाट सेक्शन में इस अनोखी सड़क पर 5 मिलीमीटर मोटी लाल टेबल-टॉप मार्किंग की गई है. यह सड़क वाहन चालकों को हल्का झटका देकर गति कम करने में मदद करती है, जिससे बाघ, तेंदुआ और अन्य वन्यजीवों की सड़क हादसों से सुरक्षा हो सके. यह प्रयोग NHAI द्वारा वीरांगना दुर्गावती टाइगर रिजर्व क्षेत्र में किया गया है.
9. मध्य प्रदेश को मिला बेस्ट वाइल्डलाइफ डेस्टिनेशन का खिताब
मध्य प्रदेश को अद्वितीय जैव-विविधता, घने जंगलों और सफल संरक्षण मॉडल के लिए मध्यप्रदेश को प्रतिष्ठित Travel + Leisure India's Best Awards 2025 में ‘Best Wildlife Destination' के सम्मान से नवाजा गया. यह अवॉर्ड्स का 14वां संस्करण है, जिसमें मध्यप्रदेश को देश के वन्यजीव अनुभवों के केंद्र (Heart of India's wildlife experiences) के रूप में मान्यता दी गई है.
10. एमपी के म्याना रेलवे स्टेशन को राष्ट्रीय ऊर्जा संरक्षण पुरस्कार-2025
गुना जिले के म्याना रेलवे स्टेशन ने ऊर्जा संरक्षण के क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य कर राष्ट्रीय स्तर पर पहचान बनाई. राष्ट्रीय ऊर्जा संरक्षण दिवस के अवसर पर नई दिल्ली में आयोजित समारोह में राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने म्याना रेलवे स्टेशन को National Energy Conservation Awards–2025 के तहत Transport Category (Railway Station) में Best Performing Unit के रूप में सम्मानित किया. मध्य प्रदेश जनसम्पर्क विभाग की जानकारी के अनुसार, म्याना रेलवे स्टेशन ने ऊर्जा दक्ष उपायों और बेहतर प्रबंधन के जरिए 9 हजार 687 यूनिट विद्युत ऊर्जा की बचत की.