GST Scam: 512 करोड़ के जीएसटी घोटाले में दूसरी बड़ी गिरफ्तारी, मरवाही से पकड़ा गया विनोद सहाय के सहयोगी शेख जफर

How GST Works: शेख जफर के माध्यम से फर्जी बिल उपलब्ध कराए गए थे और कोयला आपूर्ति के नाम पर कागज़ी कारोबार किया गया. इस पूरे खेल में राजा सरावगी (बुडार), अशोक चतुर्वेदी (बुडार), और राजेश कोटवानी (बिलासपुर) के नामों का भी खुलासा हुआ है, जिनसे कोयला क्रय दिखाकर बिल तैयार किए जाते थे. 

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Jabalpur GST Scam News: देश के बहुचर्चित जीएसटी घोटाले में बुधवार को एक और अहम गिरफ्तारी हुई. भोपाल पुलिस की टीम ने छत्तीसगढ़ के मरवाही से शेख जफर को गिरफ्तार किया है, जिसे इस घोटाले के मुख्य आरोपी विनोद सहाय का सहयोगी बताया जा रहा है. इससे पहले, 25 जून 2025 को मुख्य साजिशकर्ता विनोद सहाय को झारखंड की राजधानी रांची से गिरफ्तार किया गया था.

जांच में सामने आया है कि शेख जफर मूल रूप से मध्य प्रदेश के अनूपपुर का रहने वाला है और वह विनोद सहाय के साथ मिलकर फर्जी बिलों और शेल कंपनियों के जरिए करोड़ों रुपये का कोयला व्यापार दर्शाकर हेराफेरी कर रहा था.

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 फर्जी फर्मों और लेनदेन का बहुत बड़ा है इनका जाल

दरअसल इन आरोपियों ने फर्जी कंपनी बनाकर देश को लगभग 512 करोड़ रुपये का जीएसटी में चुना लगाया था. आरोपी शेख जफर के नाम से भी दो कंपनियां की जा रही है. जफर के नाम पर अम्बर कोल डिपो और अनम ट्रेडर्स जबलपुर के रानीताल पते पर पंजीकृत हैं. इन कंपनियों के जरिए अभिजीत ट्रेडर्स, मां रेवा ट्रेडर्स, नमामि ट्रेडर्स के साथ व्यापार दर्शाया गया. वहीं, विनोद सहाय की फर्म JMKD कोल के जरिए भटिया कोल (बिलासपुर), खालसा कोल (बिलासपुर), आर्यन वॉशरी, जैन वॉशरी (अनूपपुर), हरिजिका कोल (रायगढ़) और अन्य फर्मों के साथ भी फर्जी व्यापार दिखाया गया है.

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ये हैं विनोद सहाय की कंपनियां

  • प्रकाश इंडस्ट्रीज लिमिटेड, चांपा
  • नेशनल फर्म (प्रोप्राइटर अक्कू जेठानी)
  • एमएसपी पावर प्लांट, रायगढ़
  • बीएस सिंघल पावर प्लांट, रायगढ़

ऐसे बनवाए जाते थे फर्जी बिल

इन संस्थानों को शेख जफर के माध्यम से फर्जी बिल उपलब्ध कराए गए थे और कोयला आपूर्ति के नाम पर कागज़ी कारोबार किया गया. इस पूरे खेल में राजा सरावगी (बुडार), अशोक चतुर्वेदी (बुडार), और राजेश कोटवानी (बिलासपुर) के नामों का भी खुलासा हुआ है, जिनसे कोयला क्रय दिखाकर बिल तैयार किए जाते थे. 

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मरवाही से बुधवार को गिरफ्तार किए गए शेख जफर को पुलिस रिमांड पर लेकर पूछताछ करने की बात कही जा रही है.  जिससे इस जीएसटी घोटाले के और भी बड़े खुलासे की उम्मीद है. इस गिरफ्तारी को लेकर प्रवर्तन निदेशालय (ED) व अन्य जांच एजेंसियों की भी नजरें अब इस नेटवर्क पर हैं. यह मामले को छत्तीसगढ़, मध्यप्रदेश, झारखंड, महाराष्ट्र के उद्योग समूहों तक फैले एक संगठित जीएसटी फर्जीवाड़ा गैंग का हिस्सा माना जा रहा है.

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