कितनी कारगर होगी धार पुलिस की 'बेटी की पेटी' मुहिम, क्या रुकेंगी ऐसी घटनाएं?

Women Safety Innovation :  बेटियों और महिलाओं की सुरक्षा को लेकर धार जिले में एक विशेष नवाचार किया गया. इसका नाम है 'बेटी की पेटी'. लेकिन देखना होगा ये मुहिम कितनी कारगर साबित होगी.

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Beti Ki Pati: कितनी कारगर होगी धार पुलिस की 'बेटी की पेटी' मुहिम.

Beti Ki Pati  Drive In Dhar: मध्य प्रदेश के धार जिले के मनावर में महिलाओं की सुरक्षा और महिला उत्पीड़न के मामलों में शिकायतों को लेकर "बेटी की पेटी" पहल शुरू की गई. इस अभियान की शुरुआत सिविल हॉस्पिटल में की गई, जहां एसडीओपी अनु बेनीवाल, थाना प्रभारी ईश्वर सिंह चौहान और एसआई रानी राठौड़ ने बेटी की पेटी लगाई.

इन विषयों पर हुई चर्चा

इस पहल का उद्देश्य बालिकाओं और महिलाओं पर हो रहे, अपराधों की शिकायत को आसान बनाना है. एसडीओपी अनु बेनीवाल ने सिविल हॉस्पिटल में महिलाओं, सरकारी विद्यालयों की छात्राओं और बस स्टैंड पर मौजूद महिलाओं से संवाद किया. उन्होंने महिला उत्पीड़न और साइबर अपराध जैसे विषयों पर विस्तार से चर्चा की और साइबर अपराधों से सुरक्षा के उपायों की जानकारी दी.

छात्राओं से किया गया ये वादा 

अनु बेनीवाल ने कहा, "इस पेटी के माध्यम से महिलाएं नि संकोच होकर अपनी समस्याएं बता सकती हैं. शिकायतों का पूरी संवेदनशीलता और सहानुभूति के साथ निराकरण किया जाएगा." उन्होंने छात्राओं को यह भी आश्वासन दिया कि वे भय मुक्त होकर पढ़ाई कर सकेंगी.

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हर सप्ताह खुलेगी पेटी 

हर सप्ताह स्कूल में बेटी की पेटी खोली जाएगी, जिसमें समस्या संबंधित चिट्ठियां निकाली जाएंगी, ताकि आगे की कार्रवाई की जा सके. इस पहल से महिलाओं में सुरक्षा की भावना बढ़ेगी और वे अपनी समस्याओं को खुलकर साझा कर सकेंगी.

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