छुट्टी पर जा रहे BSF जवानों की गाड़ी अनियंत्रित होकर पलटी, 17 जवान घायल, चार की हालत गंभीर

BSF Soldiers Vehicle Overturned: छत्तीसगढ़ के नारायणपुर में बीएसएफ जवानों की गाड़ी पलटने से 15 जवान घायल हो गए हैं. इनमें से पांच जवानों की हालत गंभीर बताई जा रही है. यह हादसा अंतागढ़-नारायणपुर मार्ग पर कुम्हारी गांव के पास का बताया जा रहा है.

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बीएसएफ जवानों की गाड़ी पलटने से 15 जवान घायल हुए हैं.

BSF Vehicle Accident in Narayanpur: छत्तीसगढ़ के नारायणपुर जिले (Narayanpur) में नक्सल मोर्चे पर तैनात BSF (सीमा सुरक्षा बल) के जवानों से भरा मेटाडोर वाहन शुक्रवार को अनियंत्रित होकर पलट गया. इस घटना में 17 जवान घायल हो गए. जिन्हें इलाज के लिए नारायणपुर के जिला अस्पताल (District Hospital Narayanpur) में भर्ती कराया गया है. इनमें से 4 जवानों की हालत गंभीर बताई जा रही है. जिन्हें बेहतर इलाज के लिए हेलीकॉप्टर की मदद से रायपुर (Raipur) रेफर किया गया है. वहीं नारायणपुर के पुलिस अधीक्षक पुष्कर शर्मा (Narayanpur SP) घायल जवानों से मिलने पहुंचे.

जानकारी के मुताबिक, ये सभी जवान नारायणपुर क्षेत्र में अलग-अलग स्थानों में पोस्टेड हैं. ये सभी छुट्टी पर अपने घर जा रहे थे. सभी जवानों को मेटाडोर वाहन से रावघाट से अन्तागढ़ रेलवे स्टेशन ले जाया जा रहा था. इसी दौरान रावघाट-ताड़ोंकी मार्ग के बीच वाहन अनियंत्रित होकर पलट गया. 

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यह हादसा अंतागढ़-नारायणपुर मार्ग पर कुम्हारी गांव के पास का बताया जा रहा है.

दुर्घटना ने खोली व्यवस्थाओं की पोल

बस्तर में नक्सल मोर्चे पर हजारों जवान तैनात हैं. माओवाद के खात्मे के लिए सरकार अरबों रुपये खर्च कर रही है. लेकिन, शुक्रवार को हुई दुर्घटना ने एक बार फिर से सरकार द्वारा जवानों को मिलने वाली सुविधाओं की पोल खोल दी है. मालवाहक मेटाडोर में जवानों को बैठाकर स्टेशन तक ले जाने से जवानों को मिलने वाली सुविधाओं की पोल खुल गई है. बता दें कि बस्तर में इससे पहले कई ऐसी घटनाएं हो चुकी हैं, जिसमें छुट्टी पर जाने वाले जवानों को माओवादी अपना निशाना बनाते रहे हैं. ऐसे में छुट्टी पर जाने वाले जवानों की सुरक्षा की जिम्मेदारी अहम है.

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जवानों ने स्वास्थ्य व्यवस्था पर उठाए सवाल

इस हादसे में मेटाडोर वाहन पलटने से 17 जवान घायल हुए हैं, जिनमें से पांच जवानों को गंभीर स्थिति होने की वजह से हेलीकॉप्टर से रायपुर रेफर करना पड़ा है. इस व्यवस्था से नाराज होते हुए कुछ जवानों ने नाम न लिखने की शर्त पर NDTV से कहा कि सरकार करोड़ों रुपये विकास के नाम पर खर्च कर रही है, लेकिन आज तक बस्तर में ऐसा हॉस्पिटल नहीं बना पाई जिससे जवानों को किसी भी स्थिति में पूर्णतया इलाज मुहैया करवाया जा सके. बस्तर में कई बार ऐसी घटनाएं हो चुकी हैं, जब जवानों को समय से उचित उपचार नहीं मिल पाने से उन्होंने दम तोड़ दिया. ऐसी स्थिति से जवानों का मनोबल कमजोर होता है.

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