Train Ticket: बिना टिकट ट्रेन में सफर करने वालों के खिलाफ रेलवे (Railway) ने कड़ा रुख इख्तियार कर लिया है. इसी कड़ी में पूर्वी रेलवे ने मई में बिना टिकट सफर करने वाले यात्रियों पर 7.57 करोड़ रुपये से अधिक का जुर्माना लगाया है. इसके साथ ही रेलवे ने अब इन बहानों का भी हल ढूंढ निकाला है कि जल्दी में था, इसलिए टिकट नहीं ले पाया.
इस संबंध में जानकारी देते हुए पूर्वी रेलवे के सीपीआरओ कौशिक मित्रा ने बताया कि जिन लोगों के पास स्मार्टफोन है वे यूटीएस ऐप डाउनलोड कर ऑनलाइन अनारक्षित टिकट बुक कर सकते हैं. इसके अलावा, वे टिकट बुक करने के लिए सभी स्टेशनों पर प्रदर्शित क्यूआर कोड को भी स्कैन कर सकते हैं. इसलिए, यह बहाना अब मायने नहीं रखता कि कोई व्यक्ति जल्दी में था.
1,80,900 लोगों को पकड़ा गया
मित्रा ने बताया कि बिना टिकट यात्रा करने वालों के खिलाफ पूर्वी रेलवे (ईआर) ने एक व्यापक अभियान चलाकर उपनगरीय नेटवर्क से अकेले मई महीने में 7 करोड़ 57 लाख रुपये से अधिक का जुर्माना वसूलने के बाद यात्रियों से टिकट के बिना यात्रा करने से परहेज करने का आग्रह किया है. उन्होंने बताया कि इस दौरान बिना टिकट के यात्रा करते हुए 1,80,900 लोगों को पकड़ा गया. हालांकि, इस दौरान कई और लोग टिकट-चेकिंग स्टाफ को चकमा देने में कामयाब रहे.
हावड़ा डिविजन से वसूला गया सबसे ज्यादा जुर्माना
पूर्वी रेलवे (ईआर) की ओर से अपने चार डिवीजनों के लिए जारी आंकड़ों के मुताबिक मई महीने में बिना टिकट सफर करने वाले यात्रियों से कुल 7 करोड़ 57 लाख 30,000 रुपये वसूला गया. इसमें सबसे ज्यादा हावड़ा डिविजन से 2,43,90,000 रुपये वसूला गया. इसके बाद 1,77,00,000 रुपये के जुर्माने के साथ सियालदह डिवीजन दूसरे नंबर पर रहा.
रलवे ने बताए ट्रेन से सफर के फायदे
मित्रा ने कहा कि रेल लोगों के लिए यात्रा का सबसे सस्ता और सबसे सुविधाजनक साधन बनी हुई है. हम यात्रियों को यह बताने की कोशिश कर रहे हैं कि अगर वे सड़क मार्ग से यात्रा करते हैं, तो उन्हें कम से कम 6-7 गुना अधिक भुगतान करना होगा. उदाहरण के लिए हावड़ा के बीच श्रीरामपुर उपनगरीय ट्रेन का किराया 20 किमी की यात्रा के लिए और मात्र 5 रुपये है और यात्रा का समय भी मुश्किल से 30 मिनट है. वहीं, इस जबरदस्त गर्मी में बस यात्रा का खर्च लगभग 40 रुपये होगा और इसमें एक घंटे से अधिक समय लगेगा, वह भी तब जब सड़कें ट्रैफिक जाम से मुक्त हों.
ऐप से डाउनलोड करें टिकट
उन्होंने यह भी बताया कि अब लोगों को टिकटों के लिए बुकिंग काउंटरों पर कतार में नहीं लगना पड़ता है. जिन लोगों के पास स्मार्टफोन है, वे यूटीएस ऐप डाउनलोड कर सकते हैं और ऑनलाइन अनारक्षित टिकट बुक कर सकते हैं. वे टिकट बुक करने के लिए सभी स्टेशनों पर प्रदर्शित क्यूआर कोड को भी स्कैन कर सकते हैं. इसके अलावा, सभी महत्वपूर्ण उपनगरीय स्टेशनों पर स्वचालित टिकट वेंडिंग मशीनें (एटीवीएम) भी स्थापित की गई है. इसलिए, यह बहाना अब मायने नहीं रखता कि कोई व्यक्ति जल्दी में था.
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उन्होंने कहा कि कई स्थानों पर, सेवानिवृत्त रेलवे कर्मचारियों को इन मशीनों को संचालित करने के लिए अनुबंध के आधार पर नियुक्त किया गया है, ताकि उन लोगों की सहायता की जा सके, जो उनके कामकाज से परिचित नहीं हैं.
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