MP News: भोपाल सहित इन शहरों में स्मार्ट मीटर लगाने की तैयारी, होंगे ये बड़े फायदे..

Madhya Pradesh News: मध्य प्रदेश (Madhya Pradesh) की राजधानी भोपाल (Bhoapl) सहित कई शहरों में स्मार्ट मीटर लगाने की योजना है, केंद्र सरकार की आरडीएसएस योजना के अंतर्गत ये काम किया जाएगा. लेकिन स्मार्ट मीटर लगने के बाद क्या फायदा होगा..?

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MP News: भोपाल सहित इन शहरों में स्मार्ट मीटर लगाने की तैयारी

Smart Meter News: MP में केंद्र सरकार की आरडीएसएस योजना के अंतर्गत मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी कार्यक्षेत्र में अब स्मार्ट मीटर लगने जा रहे हैं. कंपनी ने कुल 41 लाख 35 हजार 791 स्मार्ट मीटर स्थापना के कार्य स्वीकृत हुए हैं, जिसके तहत कंपनी क्षेत्र में समस्त 33/11 के.व्ही. उपकेंद्रों 11 के.व्ही. फीडरों, वितरण-ट्रांसफार्मरों (कृषि श्रेणी को छोडकर) एवं कृषि श्रेणी के अलावा समस्त उपभोक्ताओं के मीटर, स्मार्ट मीटरों से बदले जाने हैं.

लिस्ट में इन शहरों का नाम शामिल

स्मार्ट मीटर प्रोजेक्ट के पार्ट-1 में कुल 9 लाख 77 हजार 048 विद्युत-उपभोक्ताओं (जिसमें समस्त उच्चदाब उपभोक्ता, औद्योगिक उपभोक्ता एवं ब्लाक-स्तर व ऊपर के शासकीय कार्यालय सम्मिलित हैं), 9 हजार 477 विद्युत उपकेंद्र, फीडरों एवं 1 लाख 55 हजार 515 वितरण ट्रांसफार्मरों पर स्मार्ट मीटर स्थापित किए जाने हैं.विद्युत उपभोक्ताओं के यहां स्मार्ट मीटर स्थापना का यह कार्य प्रमुख रूप से भोपाल, सीहोर, विदिशा, नंर्मदापुरम, ग्वालियर, दतिया, भिण्ड, मुरैना, गुना एवं शिवपुरी जिलों में किया जाना है.

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2 लाख 8 हजार 128 स्मार्ट मीटर लगना है..

इस प्रोजेक्ट की शुरुआत भोपाल (शहर) वृत्त से की जा रही है, जहां पर कुल 2 लाख 08 हजार 128 स्मार्ट मीटर लगाए जाने हैं. एएमआईपीएस ने 13 अक्टूबर 2024 तक कम से कम 57 हजार 102 स्मार्ट मीटर लगाए जाने हैं एवं तत्पश्चात हर माह कम से कम 54 हजार 247 स्मार्ट मीटर जाकर 13 जून 2026 तक 11 लाख 42 हजार 040 स्मार्ट मीटर स्थापना का कार्य पूर्ण किया जाना है.

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इन सबकी होगी जांच

स्मार्ट मीटर प्रोजेक्ट के तहत सर्वप्रथम 11 के.व्ही. फीडर वार कंज्यूमर-इंडेक्सिगं कार्य किया जाएगा जिसके तहत सर्वेक्षकों द्वारा प्रत्येक वितरण-ट्रांसफार्मर एवं उससे जुडे विद्युत कनेक्शनों का समस्त विवरण मोबाइल-एप पर एकत्र किया जाएगा. सर्वेक्षण के दौरान विद्युत-कनेक्शनों के जीपीएस लोकेशन के साथ-साथ मीटर और सर्विस लाइन की वस्तुस्थिति भी मौके पर जांची जाएगी. उपभोक्ता प्रतिष्ठानों में मीटर स्थापना के लिए आश्यक होने पर सर्विस लाइन बदलने एवं मीटर शिफ्टिंग का कार्य भी किया जाएगा.

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स्मार्ट मीटर से होने वाले फायदे

1. सुरक्षा निधि से छूट एवं पहले से जमा सुरक्षा-राशि से पहला रिचार्ज
2. मौजूदा टैरिफ के अनुसार, घरेलू एवं गैर घरेलू (व्यावसायिक) बिल में 25 पैसे प्रति यूनिट की छूट तथा ऊर्जा-प्रभार से जुड़े अन्य प्रभारों (यथा विद्युत-शुल्क, टी.ओ.डी. सरचार्ज, पॉवर फैक्टर सरचार्ज) की घटी विद्युत दर से गणना
3. प्रत्येक भुगतान पर, बिल राशि के 0-5 प्रतिशत (न्यूनतम 5 रुपये) की छूट. घरेलू श्रेणी में छूट की कोई अधिकतम सीमा नहीं, जबकि अन्य श्रेणियों में छूट की अधिकतम सीमा 20 रुपये.
 मीटर में बैलेंस खत्म होने के बाद भी, अगले 3 दिन तक बगैर विद्युत विच्छेदन के रिचार्ज की सुविधा.

 4. विद्युत खपत एवं उपयोग में लाये जा रहे विद्युत-भार (लोड) की हर 15 मिनट में रियल टाइम जानकारी मोबाइल में उपलब्ध होगी, जिससे विद्युत के किफायती उपयोग से बिजली बिल में कटौती की जा सकेगी.

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इसको खरीदने की आवश्यकता नहीं.

 विद्युत खपत, प्रभार एवं बैलेंस राशि की प्रतिदिन की जानकारी मोबाइल ऐप एवं पोर्टल में उपलब्ध. प्रतिमाह मीटर रीडिंग में होने वाली मानवीय त्रुटि एवं विद्युत बिलों में सुधार हेतु बिजली- कार्यालय के बार-बार के चक्करों से छुटकारा.विद्युत लाइनों, वितरण ट्रांसफार्मर या किसी उपभोक्ता की विद्युत् आपूर्ति बाधित होने पर, विद्युत् व्यवधान का स्वतः संज्ञान एवं विद्युत् आपूर्ति की त्वरित बहाली. भविष्य में सोलर रूफ टॉप कनेक्शन लेने पर नये मीटर-मॉडेम खरीदने की आवश्यकता नहीं.

मध्यप्रदेश में इंदौर, जबलपुर सहित 20 से अधिक जिलों में अब तक लगभग 10 लाख मीटर सफलतापूर्वक लगाए जा चुके हैं. स्मार्ट मीटर से जुड़ी समस्त जिज्ञासाओं के समाधान, मध्यप्रदेश मध्य क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी की वेबसाइट portal.mpcz.in पर उपलब्ध है.

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