MP में कांग्रेस को फिर लगा बड़ा झटका, इस मामले में अब कोर्ट की शरण में जाएगी पार्टी 

MP News: कांग्रेस के 18 पार्षदों ने अविश्वास पत्र में हस्ताक्षर देकर कार्रवाई चाही थी. पहले दिन की परेड में मात्र छह उपस्थित हुए और पांच ने सहमति दी. एक पार्षद ने असहमति दे दी. जबकि तीन पार्षद परेड का हिस्सा भी नहीं बनीं. 

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Madhya Pradesh News: मध्य प्रदेश के सतना नगर निगम के स्पीकर का अविश्वास प्रस्ताव कलेक्टर को देकर भूचाल लाने वाली कांग्रेस को कदम-कदम पर झटके लग रहे हैं. कलेक्टर के द्वारा निर्धारित की गई परेड अवधि के दौरान कांग्रेस को फिर एक झटका तब लगा जब हस्ताक्षर मिलान के दौरान कांग्रेस की महिला पार्षद शहनाज ने अपनी असहमति जता दी. इससे पहले तीन पार्षद कांग्रेस का दामन छोड़कर चुके हैं. लिहाजा कांग्रेस का अविश्वास प्रस्ताव औंधे मुंह गिरना तय है. हालांकि कल दूसरे दिन बाकी बचे नौ पार्षदों को परेड के लिए बुलाया जाएगा उसके बाद ही आधिकारिक रुप से इस बात की घोषणा होगी. 

ये है मामला

निगम अध्यक्ष राजेश चतुर्वेदी पालन के खिलाफ  कांग्रेस पार्षदों ने 9 सितंबर को कलेक्टर अनुराग वर्मा के समक्ष अविश्वास प्रस्ताव का पत्र सौंपा था. जिसके बाद कलेक्टर ने 13 और 14 सितंबर को कांग्रेसी पार्षदों की परेड बुलाई थी. इस परेड के मुताबिक 18 पार्षदों के हस्ताक्षर युक्त पत्र के लिहाज से कम से कम 15 पार्षदों की सहमति जरूरी थी. इसके बाद कांग्रेसी पार्षदों के गायब होने का सिलसिला प्रारंभ हो गया.

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फिलहाल अब कांग्रेस मुश्किलों में दिखाई दे रही है. हालात ऐसे बन गए कि पहले दिन परेड में पहुंचे कांग्रेस दल के पार्षदों में से वार्ड क्रमांक 2 की पार्षद शहनाज बेगम ने ऐन वक्त पर पार्टी को गच्चा देते हुए असहमति व्यक्त कर दी.

जिसके बाद अब यह स्पष्ट हो चुका है कि निगम अध्यक्ष के विरूद्व अविश्चास प्रस्ताव का फ्लोर टेस्ट औंधे मुंह गिर जाएगा. कलेक्टर की परेड में कांग्रेस की रणनीति भी फेल हो गई, अब कांग्रेस कोर्ट की शरण लेने की तैयारी में है.

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पहले दिन ही बिगड़ गया खेल

कलेक्टर जब परेड के लिए वन-टू-वन के लिए कांग्रेस पार्षदों को बुला रहे थे तभी वार्ड 2 की पार्षद शहनाज बेगम को भी बुलाया गया. इस दौरान उन्होंने अविश्वास प्रस्ताव पर असहमति व्यक्त कर दी. इसके बाद जब कांग्रेसियों को यह पता लगा कि उन्होंने असहमति व्यक्त कर दी है. तभी उनको कलेक्टर के समक्ष दोबारा पेश होने की बात कही गई. लेकिन कलेक्टर ने इस मुद्दे पर दोबारा बात करने से साफ  इंकार कर दिया. 

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अब कांग्रेस पाले में 14 बचे

कांग्रेस के 18 पार्षदों ने अविश्वास पत्र में हस्ताक्षर देकर कार्रवाई चाही थी. पहले दिन की परेेड में मात्र छह उपस्थित हुए और पांच ने सहमति दी. एक पार्षद ने असहमति दे दी जबकि तीन पार्षद परेड का हिस्सा भी नहीं बनीं. उन्होंने भोपाल पहुंचकर भाजपा की सदस्यता ले ली.

अविश्वास प्रस्ताव में 15 लोगों की उपस्थिति होनी चाहिए थी. इनमें से 3 अनुपस्थित और 1 असहमत हो गए. इस तरह 4 असहमत माने जाएंगे और दूसरे दिन यदि सभी 9 सहमत भी होते हैं तो मात्र 14 का समर्थन रह जाएगा. जो एक तिहाई से कम हो जाएगा.

भाजपा में शामिल पार्षद महाकाल के दरबार में

जहां एक तरफ सतना में अविश्वास प्रस्ताव को लेकर कांग्रेसी पार्षद कलेक्टर के सामने परेड कर रहे थे, वहीं दूसरी तरफ  कांग्रेस से भाजपा के पाले गई वार्ड क्रमांक 12 की पार्षद माया कोल और वार्ड क्रमांक 44 से पार्षद अर्चना अनिल गुप्ता उज्जैन में बाबा महाकाल के दरबार में माथा टेक रहीं थी. गुरूवार को दोनो ही पार्षदों ने भोपाल में भाजपा प्रदेशाध्यक्ष वीडी शर्मा की मौजूदगी में भाजपा की सदस्यता हासिल की थी. जबकि इसके पूर्व दोनों ही पार्षद अप्रत्याशित तौर पर सतना से गायब हो गई थी.

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