अजब MP में गजब घोटाला, पत्नी की जगह पति करता रहा कंप्यूटर ऑपरेटर की नौकरी, 55 लाख रुपए के घोटाले ने खोली पोल

Scam In Bansagar Project: बाणसागर परियोजना में कंप्यूटर ऑपरेटर पद पर तैनात युवक पर 55 लाख रुपए के घोटाले का आरोप है. उसके खिलाफ लोकायुक्त कार्यालय में कई मामले पहले से दर्ज हैं. दिलचस्प है कि घोटालों को अंजाम देने वाला आरोपी सालों से पत्नी की जगह पर नौकरी करता आ रहा था.

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Husband was doing job in place of wife In Rewa

Husband-Wife Scam Exposed: रीवा जिले में एक कंप्यूटर ऑपरेटर द्वारा बाणसागर प्रोजेक्ट में 55 लाख रुपए के  सनसनीखेज घोटाले का मामला सामने आया है, लेकिन जब गबन के आरोपी संतोष गुप्ता की कारगुजारियों को पता चला तो पुलिस के भी पैरों तले जमीन खिसक गई. दरअसल, 55 लाख रुपए के घोटालों का आरोपी प्रोजेक्ट में कंप्यूटर ऑपरेटर की नौकरी पत्नी की जगह पर कर रहा था, जब इसकी पोल तब खुली तो सभी भौचक्के रह गए. 

बाणसागर परियोजना में कंप्यूटर ऑपरेटर पद पर तैनात युवक पर 55 लाख रुपए के घोटाले का आरोप है. उसके खिलाफ लोकायुक्त कार्यालय में कई मामले पहले से दर्ज हैं. दिलचस्प है कि घोटालों को अंजाम देने वाला आरोपी सालों से पत्नी की जगह पर नौकरी करता आ रहा था.

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पत्नी दुर्गेश गुप्ता की जगह कंप्यूटर ऑपरेटर की नौकरी कर रहा है आरोपी संतोष गुप्ता

गौरतलब है विभाग में सालों से हो रहे घोटाले दर घोटाले का आरोपी संतोष गुप्ता कई सालों से पत्नी दुर्गेश गुप्ता की जगह कंप्यूटर ऑपरेटर की नौकरी कर रहा है. इसी दौरान उसने विभाग में 55 लाख रुपए का गबन किया. यह भी आरोप है कि उसने विभाग के एक मृत कर्मचारी के खाते में जमा 35 लाख रुपए अपने खाते में ट्रांसफर कर लिया.

परियोजना में काम कर रहे कर्मचारियों के खिलाफ लोकायुक्त ने दर्ज कर रखे हैं कई मामले

रिपोर्ट के मुताबिक जिले में जब से बाणसागर परियोजना का काम प्रारंभ हुआ था, तभी से इस परियोजना में लगातार घोटाले की गूंज सुनाई देती थी. जिसके चलते लोकायुक्त पुलिस ने बाणसागर परियोजना में काम कर रहे अधिकारी कर्मचारियों के खिलाफ कई मामले दर्ज कर रखे हैं और उनका जांच आज भी जारी है.

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गबन के आरोपी कंप्यूटर ऑपरेटर संतोष गुप्ता और पत्नी दुर्गेश गुप्ता के 55 लाख रुपए के घोटालों को खुलासा होने के बाद रीवा पुलिस ने दोनों पति-पत्नी के खिलाफ विभिन्न धाराओं में मामला दर्ज करके जांच प्रारंभ कर दिए है और अब मामले की छानबीन की जा रही है.

परियोजना में घोटाले के आरोपियों को नहीं मिली सजा, कई अब इस दुनिया में नहीं है

दरअसल, बाणसागर परियोजना में घोटाले के कई आरोपी अब इस दुनिया में नहीं है. उनकी मौत हो गई है, लेकिन सजा आज तक किसी को नहीं मिली, जिसके चलते बाणसागर परियोजना के अंतर्गत कम कर रहे कर्मचारी आज भी घोटाला करने से बाज नहीं आ रहे.

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सालों से बाणसागर में नौकरी करता आ रहा आरोपी, किसी ने नहींं दर्ज की आपत्ति

रिपोर्ट कहती है कि जिस कंप्यूटर ऑपरेटर के पद पर आरोपी संतोष गुप्ता नौकरी कर रहा था, वह नौकरी उसकी पत्नी दुर्गेश गुप्ता को मिली थी, लेकिन आरोपी संतोष गुप्ता कई सालों से बाण सागर ऑफिस जाकर नौकरी कर रहा था, लेकिन कभी किसी ने आपत्ति नहीं दर्ज किया.

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नगर पुलिस अधीक्षक शिवाली चतुर्वेदी से ने बताया कि पुलिस को शिकायत मिली थी कि बाणसागर परियोजना के क्योंटी नहर संभाग में दुर्गेश गुप्ता पति संतोष गुप्ता को कंप्यूटर ऑपरेटर के पद में नियुक्त किया गया था, लेकिन पत्नी की जगह उसका पति कार्यालय में जाता था.

संतोष गुप्ता और दुर्गेश गुप्ता के खिलाफ रीवा पुलिस ने अलग-अलग FIR दर्ज करवाए

आरोप है कि संतोष गुप्ता ने 2019-20 और 2021 में विभाग को लगभग 55 लाख रुपए से ज्यादा का चूना लगाया. इसकी जानकारी जब जिम्मेदारों को हुई, तब संतोष गुप्ता और दुर्गेश गुप्ता के खिलाफ जांच प्रारंभ की गई, जांच में घोटाला साबित होने के बाद पुलिस में शिकायत दर्ज कराई गई, जिसके बाद दोनों के खिलाफ अलग-अलग FIR  दर्ज की गई.

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सूक्ष्म दबाव सिंचाई परियोजना नई गढ़ी में भी आरोपी ने घोटाला किया, जिसकी शिकायत दर्ज है. साल 2019-20 के बीच उसने 36.94 लाख रुपए का गबन किया. साल 2020-2021 में भी 18.43 लाख रुपए के गबन का मामला सामने आया, जिसमें पति पत्नी दोनों आरोपी हैं.

आरोपी ने कार्यालय के मृत कर्मचारी के खाते से अपने खाते में ट्रांसफर किए 35 लाख रुपए 

संतोष गुप्ता ने 2019-20 में एक मृत कर्मचारी गिरीश कुमार मिश्रा के खाते से अपने खाते में 35 लाख रुपए ट्रांसफर किए. मृतक के वेतन के भुगतान में केवल 1.6 लाख रुपए ही बकाया था. संतोष ने बड़ी होशियारी से 35.53 लाख रुपए उसके अकाउंट में ट्रांसफर किया और फिर 1.6 लाख रुपए छोड़कर बाकी पैसा अपने खाते में ट्रांसफर कर लिए.

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