MP News in Hindi: मध्य प्रदेश के कई जिलों में सैकड़ों मजदूरों का पलायन जारी है. रोजी-रोटी की जुगत में लोग अपने घरों को छोड़ने के लिए मजबूर हैं. रोजगार की तलाश में लोग कटनी जिले के मुड़वारा जंक्शन पर अपने परिवार के साथ दिख जाएंगे. यहां पहुंचने वाले लोग कटनी के साथ ही उमरिया, सिंगरौली और सीधी जिले से होते हैं. यहां से मजदूर रोजी-रोटी कमाने के लिए बीना या विदिशा की ओर रुख करते हैं. ज्यादातर लोग चना और मसूर की कटाई के लिए जा रहे हैं, जहां उन्हें 400 रुपये से लेकर 450 रुपये की प्रतिदिन की मजदूरी मिलती है.
इस दौरान एनडीटीवी ने पलायन कर रहे मजदूरों से बात की. कटनी जिले के बरही तहसील के धवैया से मजदूरी के लिए जा रहे नरेश ने बताया कि वह रोजगार के लिए विदिशा जा रहे हैं. उनके साथ करीब 25 लोग मजदूरी करने जा रहे हैं. वहां 450 रुपये हर दिन के मिल जाते हैं, लेकिन यहां रोजगार नहीं मिलता है.
महंगाई की वजह से नहीं मिलता रोजगार
अन्य मजदूर अनिल ने बताया कि महंगाई के कारण यहां रोजगार नहीं मिल पाता है, यदि रोजगार मिलता तो वह बाहर काम के लिए नहीं जाते, वह मजबूरी में जा रहे हैं. यहां आवास योजना चालू होने वाली है, लेकिन रेत, गिट्टी और ईंट महंगी है. इसलिए यहां मजदूरी ज्यादा नहीं मिलती है.
7000 की नौकरी, लेकिन बिजली बिल आया एक लाख
इस दौरान मुड़वारा स्टेशन में सफाईकर्मी दिलीप ने अपनी पीड़ा सुनाते हुए कहा, वह 7 हजार रु में नौकरी करते हैं और उनका एक लाख रु का बिजली बिल आ गया है. वह कटनी के भट्टा मोहल्ला में रहते हैं.
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फसल काटने का करेंगे काम
उमरिया जिले के भरेवा गांव से आए मजदूर वीरेंद्र ने बताया कि वह खुरई जा रहे हैं, जहां चना की कटाई करेंगे. उमरिया के ही भरेवा गांव से खुरई जा रहे मजदूर ने बताया कि उनके गांव में मजदूरी नहीं मिल पाती है. इसलिए वह चना मसूर की कटाई के लिए जा रहे है. वहां 300-400 रुपये दिन की मजदूरी मिल जाती है.
बरही से मजदूरी के लिए जा रही महिला ने बताया कि वह कटाई करने के लिए जा रही है, वहां 15 दिन तक काम करेंगी. सिंगरौली जिले से बीना जा रहे सोनू ने बताया कि वो चना-मसूर की फसल काटने जा रहे है, क्योंकि यहां उनके यहां काम नहीं मिल पाता है, इसलिए वह पलायन कर रहे हैं.
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